Eco Retreat Festival In Jharkhand : पर्यटकों को लुभायेगा इको रिट्रीट फेस्टिवल, जानें कब होगा इसका आयोजन और क्या होगी कार्यक्रम की खासियत

पर्यटकों को लुभायेगा इको रिट्रीट फेस्टिवल, जिसका आयोजन फरवरी में होगा इसका मुख्य उद्देश्य राज्य के पर्यटन की ब्रांडिंग करना है.

By Prabhat Khabar | January 13, 2021 12:01 PM

eco retreat festival in jharkhand, jharkhand eco retreat festival, रांची : मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की पहल पर फरवरी महीने में इको टूरिज्म फेस्टिवल के तहत राज्य में इको रिट्रीट का आयोजन किया जायेगा. नेतरहाट, मसानजोर, डिमना लेक व पतरातू डैम में आयोजन होगा. इको रिट्रीट का मुख्य उद्देश्य राज्य के पर्यटन की ब्रांडिंग करना है. इको रिट्रीट के दौरान सरकार राज्य में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए नयी पर्यटन नीति लाने की भी तैयारी कर रही है.

इको टूरिज्म फेस्टिवल के तहत राज्य के पर्यटन स्थलों पर कई कार्यक्रमों का आयोजन किया जायेगा. पर्यटन स्थलों पर एडवेंचर स्पोर्ट्स, नेचुरल ट्रेल, साइकिलिंग, ऑफ रोड ड्राइविंग, लेक एडवेंचर स्पोर्ट्स, रोप क्लाइम्बिंग सहित पारंपरिक नृत्य व गीत आयोजित किया जायेगा. राज्य में आने वाले पर्यटकों को नेतरहाट के मैग्नोलिया प्वाइंट और मसानजोर में जल्द ही फूलों की घाटी देखने का मौका मिलेगा. दोनों ही स्थानों पर पर्यटन विभाग ने फूलों की घाटी के निर्माण का प्रस्ताव तैयार किया है.

इसके अलावा धुर्वा में ट्राइबल थीम पार्क, दुमका और रांची में ग्रामीण पर्यटन केंद्र, सरायकेला-खरसावां, साहिबगंज और दुमका में हस्तकरघा पर्यटन केंद्र, राजमहल-साहिबगंज-पुनाई चौक गंगा सर्किट का निर्माण कर राजमहल- भागिया-उधवा फॉसिल पार्क को जोड़ने की योजना, दुमका के बासुकीनाथ में वेसाइड एमेनिटीज, मसानजोर में अतिरिक्त टूरिस्ट कॉम्प्लेक्स निर्माण, शिवगादी, साहिबगंज और मसानजोर में एडवेंचर टूरिज्म समेत अन्य योजनाएं भी प्रस्तावित हैं.

झारखंड की ग्रामीण संस्कृति से रूबरू कराने के लिए सरकार रूरल टूरिज्म विकसित कर रही है. गांव को पर्यटन से जोड़ने के चिह्नित गांवों को नया स्वरूप दिया जायेगा. नेतरहाट के आदिवासी बहुल सिरसी गांव में निर्मित मिट्टी के घरों को सांस्कृतिक टूरिज्म के तहत मॉडल गांव के रूप में विकसित करने की योजना तैयार की गयी है. सिरसी ग्राम से होम स्टे स्कीम की शुरुआत की जानी है. होम स्टे के जरिये पर्यटक राज्य की संस्कृति को नजदीक से देख सकेंगे. स्थानीय व्यंजनों का स्वाद भी चख सकेंगे.

Posted By : Sameer Oraon

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