अलकतरा घोटाला: 22 साल पुराने मामले में 22 को आयेगा फैसला

रांची : सीबीआइ के विशेष न्यायाधीश एके मिश्रा की अदालत में मंगलवार को अलकतरा घोटाला से जुड़े 22 साल पुराने मामले में दोनों पक्षों की सुनवाई पूरी हुई़ सुनवाई के बाद अदालत ने फैसले की तिथि 22 फरवरी तय की है़ इस मामले में सीबीआइने वर्ष 1997 में कांड संख्या-आरसी-2/97 दर्ज िकया था़ इसमें बिहार […]

By Prabhat Khabar Print Desk | February 20, 2019 9:20 AM
रांची : सीबीआइ के विशेष न्यायाधीश एके मिश्रा की अदालत में मंगलवार को अलकतरा घोटाला से जुड़े 22 साल पुराने मामले में दोनों पक्षों की सुनवाई पूरी हुई़ सुनवाई के बाद अदालत ने फैसले की तिथि 22 फरवरी तय की है़ इस मामले में सीबीआइने वर्ष 1997 में कांड संख्या-आरसी-2/97 दर्ज िकया था़ इसमें बिहार के पूर्व पथ निर्माण मंत्री इलियास हुसैन सहित सात आरोपी है़ं
मामला 1़ 57 करोड़ रुपये के अलकतरा घोटाला से जुड़ा हुआ है़ पटना हाइकोर्ट ने 10 फरवरी 1997 को अलकतरा घोटाले की जांच सीबीआइ से कराने का आदेश दिया था़ वर्ष 1994 से 1996 के बीच 3266 मिट्रिक टन अलकतरा घोटाले को लेकर सीबीआइ ने 20 मार्च 1997 को अलग-अलग पांच प्राथमिकी दर्ज की थी़ सितंबर 2018 में इलियास हुसैन को एक मामले में चार साल की सजा सुनायी गयी थी़ वर्तमान में उसी मामले में सजा काट रहे है़ं
क्या है मामला
वर्ष 1994 में रोड डिविजन द्वारा चतरा में सड़कों का निर्माण किया जा रहा था, इसके लिए हल्दिया ऑयल रिफाइनरी कोलकाता से अलकतरा आना था़ लेकिन मंत्री व इंजीनियरों ने कंपनी से साठ गांठ कर सरकार को करोड़ों का नुकसान पहुंचाया.
सीबीआइ जांच में सरकार को नुकसान पहुंचाने के सबूत मिले थे. 3266 मीट्रिक टन अलकतरा अवैध तरीके से बेच दिया गया़ जिसकी कीमत उस समय 1.57 करोड़ रुपये थी़ पूरे घोटाले में पूर्व मंत्री मो इलियास हुसैन, मंत्री के सचिव साहबुद्दीन बेग, खरीद एवं परिवहन विभाग के निदेशक केदार पासवान, उपनिदेशक मुजताबा अहमद, कार्यपालक अभियंता रामानंद राम, सेक्शन पदाधिकारी शोभा सिन्हा एवं ट्रांसपोर्टर आपूर्तिकर्ता डीएन सिंह शामिल है़ं

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