खरवार भोगता समाज को एसटी का दर्जा नहीं, तो भाजपा को वोट नहीं : संघ

रांची : यदि सरकार ने खरवार भोगता समाज को अनुसूचित जनजाति का दर्जा नहीं दिया, तो आगामी चुनावों में इस समाज के लोग देश व राज्य के चुनावों में भाजपा के खिलाफ वोट देंगे़ भाजपा सरकार ने ‘संविधान (अनुसूचित जातियां व अनुसूचित जनजातियां) आदेश संशोधन विधेयक 2016’ को लंबित रखा है, जबकि इस विषय पर […]

By Prabhat Khabar Print Desk | January 5, 2019 12:07 AM
रांची : यदि सरकार ने खरवार भोगता समाज को अनुसूचित जनजाति का दर्जा नहीं दिया, तो आगामी चुनावों में इस समाज के लोग देश व राज्य के चुनावों में भाजपा के खिलाफ वोट देंगे़ भाजपा सरकार ने ‘संविधान (अनुसूचित जातियां व अनुसूचित जनजातियां) आदेश संशोधन विधेयक 2016’ को लंबित रखा है, जबकि इस विषय पर गृहमंत्री राजनाथ सिंह, जनजातीय मामलों के केंद्रीय मंत्री जुएल ओराम, मंत्री थावरचंद गहलोत, जनजातीय मामलों के राज्यमंत्री सुदर्शन भगत, नागरिक उड्डयन मंत्री जयंत सिन्हा ने भी आश्वासन दिया था़
यह बात खरवार भोगता समाज विकास संघ के संरक्षक योधेश्वर सिंह भोगता व अध्यक्ष दर्शन गंझू ने प्रेस क्लब सभागार में कही़
उन्होंने कहा कि मंडल डैम परियोजना का नाम नीलांबर- पीतांबर शाही भोगता विद्युत परियोजना रखा जाये़ इससे पहले विस्थापित होने वालों को भूमि अधिग्रहण कानून 2013 के तहत समुचित मुआवजा, नौकरी दी जाये व पुनर्वास किया जाये़ इस परियोजना का ज्यादा लाभ झारखंड को मिलना चाहिए़
कोल इंडिया के गिद्दी परेज, खलारी, पिपरवार, तोपा, मगध आम्रपाली क्षेत्र की परियोजना के लिए खरवार भोगता समाज की कई एकड़ जमीन का अधिग्रहण किया गया है, पर अब तक विस्थापितों को समुचित मुआवजा व नौकरी नहीं मिली है़ मौके पर झलकू गंझू, रमण गंझू, बनवारी सिंह, कोलेश्वर गंझू, विश्वनाथ गंझू, रामलखन गंझू, नागेश्वर गंझू, अमृत भोगता, जगेश्वर गंझू, सुदर्शन भोगता, लालचंद प्रधान सहित मौजूद थे़

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