डीसी मिले बिरहोर समुदाय से, कहा-मिलेगा हरसंभव सहयोग
जिला प्रशासन का कुनबा बिहार के जंगली पगडंडी से होकर पहुंचा यमुनियातरी
चौपारण. इलाज के अभाव में बिरहोर छात्रा सरस्वती कुमारी की मौत के दूसरे दिन जिला प्रशासन की टीम यमुनियातरी गांव पहुंची. डीसी को वहां तक पहुंचने के लिए बिहार की जंगली पगडंडी और ऊबड़-खाबड़ रास्ते से गुजरना पड़ा. कई जगह सड़क न होने के कारण बाइक का सहारा लेना पड़ा. दोपहर 3.44 बजे पहुंची टीम ने करीब 45 मिनट तक बिरहोर समुदाय से बातचीत की. डीसी ने मृतका के परिजनों को ढांढस बंधाया और प्रशासनिक स्तर पर हरसंभव सहयोग का आश्वासन दिया. गांव वालों ने सड़क व पेयजल की समस्या रखी. मृतका की मौसी गुड़िया देवी ने कहा कि सरस्वती की तबीयत एक सप्ताह से खराब थी. स्वास्थ्य विभाग की टीम आयी थी, जिसने कहा था कि दो-चार दिन में गाड़ी भेजी जायेगी, पर गाड़ी नहीं आयी. इसी बीच सरस्वती की तबीयत ज्यादा बिगड़ गयी अौर हजारीबाग ले जाने के दौरान रास्ते में उसकी मौत हो गयी. इधर, यमुनियातरी जाने के दौरान प्रशासन की गाड़ी जंगल में बिगड़ गयी, जिसके बाद कर्मी पैदल गांव पहुंचे. बाद में बरही से मिस्त्री बुलाकर गाड़ी को ठीक कराया गया. स्वास्थ्य विभाग ने गांव में विशेष जांच शिविर लगाकर सभी ग्रामीणों की जांच की और दवाएं दीं. टीम में सिविल सर्जन, एसडीओ, बीडीओ, सीओ, थाना प्रभारी, डॉ फरहाना महफूज, डॉ एकलव्य सहित कई अधिकारी शामिल थे.
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