साक्षरता परीक्षा संपन्न, 70 प्रतिशत नवसाक्षरों ने दी परीक्षा

30 हजार नवसाक्षरों के लिए बनाये गये थे 1600 से अधिक परीक्षा केंद्र, प्रधानाध्यापक थे केंद्रधीक्षक

By RAKESH KUMAR | September 21, 2025 11:19 PM

दुमका. नवभारत साक्षरता कार्यक्रम के तहत राष्ट्रीय मुक्त विद्यालयी संस्थान द्वारा दुमका जिले में आयोजित बुनियादी साक्षरता एवं संख्यात्मकता सह आकलन जांच परीक्षा सफलतापूर्वक संपन्न हो गयी. जिला साक्षरता समिति की ओर से पूरे जिले में 30 हजार नवसाक्षरों को परीक्षा में सम्मिलित कराने का लक्ष्य निर्धारित था. इसके लिए जिलेभर में 1600 से अधिक परीक्षा केंद्र बनाये गये. संबंधित विद्यालयों के प्रधानाध्यापकों एवं शिक्षकों को केंद्राधीक्षक और वीक्षक की जिम्मेदारी दी गयी थी. सभी संकुलों के सीआरपी और बीआरपी को परीक्षा अनुश्रवण व सहयोग के लिए लगाया गया. प्रखंड और जिला स्तर से भी अनुश्रवण टीम गठित की गयी. टीम ने परीक्षा केंद्रों पर जाकर मॉनिटरिंग की. जिला शिक्षा पदाधिकारी भूतनाथ रजवार, जिला शिक्षा अधीक्षक सह सचिव आशीष कुमार हेंब्रम और जिला कार्यक्रम समन्वयक अशोक सिंह ने कई परीक्षा केंद्रों का निरीक्षण किया, जहां कमियां पायी गयीं, वहां सुधार का निर्देश दिया गया. अनुश्रवण के दौरान बड़ी संख्या में महिला परीक्षार्थियों को परीक्षा केंद्रों पर देखा गया. रिपोर्ट के अनुसार लगभग 70 प्रतिशत परीक्षार्थियों ने परीक्षा में भाग लिया. शेष परीक्षार्थियों की जानकारी प्रखंड स्तर से ली जा रही है. जिला कार्यक्रम समन्वयक अशोक सिंह ने बताया कि परीक्षा में 15 प्लस आयु वर्ग के वयस्क नवसाक्षर शामिल हुए. इनमें विद्यालय एवं गांव-टोला स्तर पर संचालित जन चेतना केंद्रों से जुड़े नवसाक्षर, विद्यालयों में मध्याह्न भोजन बनाने वाली असाक्षर रसोइयाकर्मी और विद्यालय प्रबंधन समिति से जुड़े असाक्षर सदस्य भी शामिल रहे. जिला शिक्षा अधीक्षक आशीष कुमार हेंब्रम ने परीक्षा सफलतापूर्वक सम्पन्न कराने के लिए सभी बीइइओ, प्रधानाध्यापकों, शिक्षकों, बीआरपी, एसआरजी पवन ठाकुर, सुमित कुमार सिन्हा और डीआरजी सदस्यों को धन्यवाद दिया. उन्होंने चेतावनी दी कि जहां परीक्षा नहीं हुई या केंद्राधीक्षक शिक्षक अनुपस्थित पाये गये, वहां रिपोर्ट प्राप्त होने पर स्पष्टीकरण जारी कर विभागीय कार्रवाई की जायेगी. गौरतलब है कि केंद्र प्रायोजित नवभारत साक्षरता कार्यक्रम पूरे जिले में संचालित है. इसके तहत असाक्षर महिला-पुरुषों को जन चेतना केंद्र के माध्यम से साक्षर किया जाता है. एनआईओएस साल में दो बार परीक्षा आयोजित कर नवसाक्षरों को प्रमाण पत्र प्रदान करता है.

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