dhanbad news: राज्य में सेरेब्रल पाल्सी के 9097 मरीज, सबसे अधिक गोड्डा में

धनबाद समेत पूरे राज्य में सेरेब्रल पाल्सी के मरीज लगातार बढ़ते जा रहे हैं, पर झारखंड में अब तक इसके इलाज को लेकर ठोस पहल नहीं हो पायी है.

By ASHOK KUMAR | November 18, 2025 2:07 AM

धनबाद समेत पूरे राज्य में सेरेब्रल पाल्सी के मरीज लगातार बढ़ते जा रहे हैं, पर झारखंड में अब तक इसके इलाज को लेकर ठोस पहल नहीं हो पायी है. पूरे राज्य में इस बीमारी से ग्रसित मरीजों की संख्या 9097 है. इनमें से 3251 मरीज सिर्फ धनबाद, बोकारो, गिरिडीह और गोड्डा जिले में हैं. सरकारी आंकड़ों के अनुसार धनबाद में 357, गिरिडीह में 553, बोकारो में 845 व गोड्डा में सबसे अधिक 1496 मरीज हैं. ज्ञात हो कि इस बीमारी की गंभीरता के अनुसार इसकी रोकथाम के लिए राज्य के सरकारी अस्पतालों में स्पीच और ऑक्युपेशनल थेरेपिस्ट नहीं हैं. ऐसे में मरीजों को उचित उपचार और परामर्श से वंचित रहना पड़ता है.

गोड्डा में हैं राज्य में सबसे अधिक मरीज

झारखंड में सेरेब्रल पाल्सी के सबसे अधिक 1496 मरीज गोड्डा जिले में हैं. इसके बाद कोडरमा में 891, साहेबगंज में 778 और बोकारो में 845 मरीज हैं. जबकि सबसे कम सात मरीज सिमडेगा में और 20 मरीज सरायकेला में हैं. अन्य जिलों में भी बड़ी संख्या में मरीज हैं.

धनबाद व आसपास के जिलों में नहीं है इलाज की सुविधा

धनबाद जिले में एक भी स्पीच थेरेपिस्ट नहीं हैं. कुछ ऐसा ही हाल आसपास के जिलों में भी है. ऐसे में मरीजों को बेहतर इलाज के लिए दिल्ली, मुंबई या अन्य बड़े शहरों में ले जाना पड़ता है. इससे मरीज के परिजनों पर आर्थिक बोझ बढ़ जाता है.

क्या है सेरेब्रल पाल्सी

सेरेब्रल पाल्सी एक न्यूरोलॉजिकल विकार है, जो बच्चे के मस्तिष्क के विकास के दौरान ऑक्सीजन की कमी या प्रसव के समय चोट लगने से होता है. इससे बच्चे की मांसपेशियों की गतिविधि, बोलने की क्षमता, संतुलन और चाल-ढाल पर असर पड़ता है. फिजियोथेरेपी, स्पीच थेरेपी और ऑक्युपेशनल थेरेपी से इसमें काफी हद तक सुधार लाया जा सकता है.

शुरुआती पहचान और नियमित थेरेपी ही समाधान

सेरेब्रल पाल्सी के लक्षण जन्म के शुरुआती छह माह में पहचान लिये जायें, तो ऐसे बच्चों की स्थिति में बड़ा सुधार लाना संभव है. नियमित फिजियोथेरेपी, स्पीच थेरेपी, ऑक्युपेशनल थेरेपी और पोषणयुक्त आहार से मरीज सामान्य जीवन जी सकता है. वहीं प्रत्येक जिले में पुनर्वास केंद्र व थेरेपिस्ट की नियुक्ति सुनिश्चित होने और अभिभावकों के लिए जागरूकता अभियान चलाने पर स्थिति में सुधार हो सकता.

राज्य के किस जिले में कितने मरीज

धनबाद – 357

गिरिडीह – 553

बोकारो – 845

गोड्डा- 1496

चतरा – 233

देवघर- 235

दुमका – 363

पूर्वी सिंहभूम – 169

गढ़वा – 310

गुमला – 249

हजारीबाग – 356

जामताड़ा – 250

खूंटी – 41

कोडरमा – 891

लातेहार – 188

लोहरदगा – 307

पाकुड़ – 72

पलामू – 447

रामगढ़ – 379

रांची – 426

साहेबगंज – 778

सरायकेला – 20

सिमडेगा – 7

वेस्ट सिंहभूम – 125

कुल – 9097

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है