क्या है ‘काल बैसाखी’? जिसने एक झटके में छीन ली सैकड़ों जिंदगियां, बिहार के 20 जिलों में बरपाया कहर

Kaal Baisakhi: बिहार में अचानक बदले मौसम ने कहर बरपा दिया है. पटना समेत 20 जिलों में तेज आंधी, बारिश और वज्रपात से भारी तबाही मची है. अब तक 80 से ज्यादा लोगों की जान जा चुकी है. इसकी एक ही वजह है 'काल बैसाखी' जिसके बारे में आज हम इस खबर में पढ़ेंगे.

By Abhinandan Pandey | April 12, 2025 7:18 AM

Kaal Baisakhi: बिहार में शनिवार को आए भयंकर आंधी-तूफान और वज्रपात ने तबाही मचा दी. पटना सहित 20 जिलों में इस कुदरती कहर ने 80 से ज्यादा लोगों की जान ले ली, जबकि सैकड़ों घायल हो गए. कई इलाकों में पेड़ और बिजली के खंभे गिरने से यातायात बाधित हो गया, तो कहीं मकान ढहने और ठनका गिरने से जन-धन का नुकसान हुआ.

राज्य के नालंदा जिले में सबसे ज्यादा तबाही दर्ज की गई. जहां 20 से अधिक लोगों की मौत हुई है. मौसम विभाग के अनुसार, कई जिलों में हवा की रफ्तार 40-50 किलोमीटर प्रति घंटे रही, लेकिन दक्षिण बिहार के कुछ हिस्सों में यह रफ्तार 100-150 किमी प्रति घंटे तक पहुंच गई. जिससे हालात और भी गंभीर हो गए.

तेज आंधी और बारिश से टूटी किसानों की कमर

तेज आंधी और बारिश ने किसानों की कमर तोड़ दी है. गेहूं, मक्का, मूंग और प्याज जैसी फसलें बर्बाद हो गई हैं. खेतों में खड़ी फसलें जमीन पर बिछ गई हैं. किसान हैरान हैं कि अब क्या करें, क्योंकि इस एक झटके ने उनकी सालभर की मेहनत को मिट्टी में मिला दिया.

क्या होता है काल बैसाखी?

मौसम वैज्ञानिकों के मुताबिक यह सब ‘काल बैसाखी’ का असर है. ‘काल बैसाखी’ अप्रैल-मई में पूर्वी भारत में आने वाला एक मौसमी तूफान है, जिसमें तेज हवा, बारिश और वज्रपात एक साथ होते हैं. यह असम, बंगाल, बिहार, झारखंड और ओडिशा में हर साल तबाही लाता है.

सरकार ने जिलों में राहत और बचाव कार्य शुरू कर दिया है. लेकिन प्रभावित इलाकों में लोगों की मदद के लिए तत्काल कदम उठाने की जरूरत है, क्योंकि हालात अभी भी सामान्य नहीं हुए हैं.

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