Bihar Teacher: ऑनलाइन अटेंडेंस में दिखे कई दिनों तक एक ही कपड़े में शिक्षक, जांच हुई तो खुला ये राज

Bihar Teacher: नवंबर 2024 से अप्रैल 2025 के बीच की रैंडम उपस्थिति जांच में यह फर्जीवाड़ा सामने आया. जांच में यह पाया गया कि कई शिक्षक स्कूल में मौजूद नहीं थे, फिर भी उनकी फोटो और उपस्थिति ऐप पर बन चुकी थी. इन शिक्षकों ने दूसरे लोगों के मोबाइल से फोटो खींचकर, वीडियो बनाकर या छेड़छाड़ करके ई शिक्षा ऐप में उपस्थिति बना ली थी.

By Ashish Jha | May 16, 2025 2:28 PM

Bihar Teacher: पटना. बिहार में शिक्षकों की ऑनलाइन अटेंडेंस में एक बड़े पैमाने पर फर्जीवाड़े का खुलासा हुआ है. इस फर्जीवाड़े के तहत शिक्षक स्कूल में नहीं होने के बावजूद, ई शिक्षा कोष ऐप के जरिए अपनी उपस्थिति दर्ज करवा रहे थे. इस मामले में कई हैरान करने वाले तथ्य सामने आए हैं. कोई शिक्षक गंजी में स्कूल जाता हुआ दिख रहा है, तो कोई लगातार 10-15 दिन तक एक ही कपड़े में हाजिरी लगा रहा है. शिक्षकों ने ई शिक्षा कोष ऐप के जरिए छेड़छाड़ की और घर से या कहीं अन्य स्थानों से ही अपनी उपस्थिति बनाई है.

कई शिक्षकों पर गिर सकती है गाज

विशेष रूप से मुजफ्फरपुर जिले के कई प्रखंडों में ऐसे शिक्षक पकड़े गए हैं. गायघाट के गोढ़ियारी स्थित उच्च माध्यमिक विद्यालय में भी कई शिक्षक इस फर्जीवाड़े में शामिल पाए गए. यहां, दूसरे शिक्षक कई बार वीडियो बनाकर उन शिक्षकों की उपस्थिति दर्ज करवा रहे थे. इन वीडियो में स्कूल की इमारत भी दिखाई जा रही थी, ताकि यह साबित किया जा सके कि शिक्षक स्कूल में मौजूद हैं. अजीब बात यह थी कि कुछ शिक्षकों की लगातार 10-15 दिनों तक एक ही कपड़े में उपस्थिति बनी रही, जोकि पूरी तरह से शक को जन्म देती है.

कई प्रखंडों में अभी चल रही जांच

डीईओ अजय कुमार सिंह ने कहा कि इस मामले में गायघाट, सरैया, औराई समेत कई प्रखंडों में फर्जीवाड़े के मामले सामने आए हैं. इनमें कुछ शिक्षकों की उपस्थिति जनवरी से मार्च तक, तो कुछ की नवंबर से मार्च तक बनती रही. इन शिक्षकों ने ई शिक्षा कोष ऐप में छेड़छाड़ कर अपनी उपस्थिति दर्ज करवाई थी. तीन दिनों के भीतर सभी शिक्षकों से स्पष्टीकरण मांगा गया है और उनकी जांच की जा रही है. विशेष रूप से, सिउरी सरैया के उच्च माध्यमिक विद्यालय के शिक्षक की उपस्थिति में भी गड़बड़ी पाई गई है. वह स्कूल पहुंचते समय एक कपड़े में दिख रहे थे, लेकिन स्कूल से बाहर जाते वक्त उनका परिधान बदल चुका था. तीन महीनों तक लगातार इस शिक्षक की उपस्थिति में फोटो, वीडियो और लोकेशन से संबंधित छेड़छाड़ का मामला सामने आया है. इन मामलों में कार्रवाई की तैयारी की जा रही है.

शिक्षा विभाग ले सकता है सख्त निर्णय

वहीं, विभाग ने सभी शिक्षकों से इन फर्जीवाड़ों का स्पष्टीकरण मांगा है और अब उनकी जांच तेज़ी से की जा रही है. सैकड़ों शिक्षकों पर कार्रवाई की योजना बनाई जा रही है. उम्मीद जताई जा रही है कि जल्द ही ऐसे शिक्षकों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी और शिक्षा व्यवस्था में पारदर्शिता सुनिश्चित की जाएगी. इस घोटाले ने राज्य में शिक्षकों की ई शिक्षा कोष ऐप के इस्तेमाल में पारदर्शिता की कमी को उजागर किया है. शिक्षा विभाग ने इस मामले में पूरी तरह से जांच करने और दोषियों को सजा दिलाने का भरोसा दिया है, ताकि भविष्य में इस तरह के फर्जीवाड़े की पुनरावृत्ति न हो.

Also Read: Folk Band: मिथिला का ‘फोक बैंड’ रसनचौकी, इन पांच वाद्ययंत्रों पर कभी नहीं बजता शोक धुन