नीतीश ने 15 महीने के लिये सीएम बनाया और 8 महीने में जबरन हटा दिया

पटना : पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने दलित, अतिपिछड़ा, महिला, अल्पसंख्यक व गरीबों पर हो रहे उत्पीड़न के लिए नीतीश सरकार पर हमला बोला है. उन्होंने कहा कि दलितों के विकास व आरक्षण में भागीदारी बढ़ाने की जरूरत है. हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा द्वारा आयोजित जनाक्रोश सम्मेलन में आये लोगों का आह्वान करते हुए पूर्व […]

By Prabhat Khabar Print Desk | August 29, 2016 9:01 PM

पटना : पूर्व मुख्यमंत्री जीतन राम मांझी ने दलित, अतिपिछड़ा, महिला, अल्पसंख्यक व गरीबों पर हो रहे उत्पीड़न के लिए नीतीश सरकार पर हमला बोला है. उन्होंने कहा कि दलितों के विकास व आरक्षण में भागीदारी बढ़ाने की जरूरत है. हिंदुस्तानी अवाम मोर्चा द्वारा आयोजित जनाक्रोश सम्मेलन में आये लोगों का आह्वान करते हुए पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि दलितों को एकजुट हो कर सत्ता पर काबिज होने पर ही लाभ मिल सकता है. उन्होंने नीतीश सरकार के खिलाफ दिसंबर में गांधी मैदान में महासम्मेलन करने की बात कही.

हक मारने का काम कर रहे हैं नीतीश कुमार

राज्य में अनुसूचित जाति की आबादी लगभग 25 फीसदी है. उसे मात्र 16 फीसदी मान कर आरक्षण दिया जा रहा है. उसमें कई जाति को शामिल कर सामाजिक न्याय के हिमायती बननेवाले मुख्यमंत्री नीतीश कुमार दलितों के साथ आरक्षण का हक मारने का काम कर रही है. पूर्व मुख्यमंत्री ने कमेटी बना कर अनुसूचित जाति की आबादी की जांच कराने की मांग की है. उन्होंने कहा कि दलित बच्चे उच्च शिक्षा हासिल नहीं कर सके इसके लिए सरकार ने छात्रवृति कम कर दिया है. छात्रवृति की मांग करने पर उसकी पिटायी की जाती है. उन्होंने कहा कि छात्रवृति घोटाला की जांच सेवानिवृत न्यायाधीश से करायी जाये. उन्होंने पूना पैक्ट पर जोर देते हुए दलितों के लिए दोहरी मतदाता सूची बनाने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी से मांग करेंगे.

मुझे जबरन हटाया गया-मांझी

मुझे 15 माह के लिए मुख्यमंत्री बनाया गया था, लेकिन आठ माह में ही जबरन हटा दिया गया. अगर रहते तो आशा, ममता, टोला सेवक आदि को वेतनमान कर देते. उन्होंने कहा कि राज्य में बलात्कार की घटना में वृद्धि हुई है. शराबबंदी की बात केवल नौटंकी है. शराबबंदी के लिए राज्य की 16 फैक्ट्रियों को पहले सरकार बंद तो कराये. शराबबंदी के लिए लाया कानून काला कानून है. पूर्व मुख्यमंत्री ने कहा कि पार्टी का प्रखंड, जिला व कमिश्नरी में नवंबर तक सम्मेलन कर लोगों को संगठित किया जायेगा.

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