…तो अब ममता बनर्जी की पार्टी का दामन थाम सकते हैं जदयू से निष्कासित प्रशांत किशोर

एक्शन : पार्टी महासचिव त्यागी ने पत्र जारी कर दी जानकारी पटना : आखिरकार जदयू ने पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर और राष्ट्रीय महासचिव पवन कुमार वर्मा को बाहर का रास्ता दिखा दिया. एक दिन पहले पार्टी अध्यक्ष और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर ट्वीट कर पलटवार करने के बाद ही प्रशांत किशोर के खिलाफ […]

By Prabhat Khabar Print Desk | January 30, 2020 8:34 AM
एक्शन : पार्टी महासचिव त्यागी ने पत्र जारी कर दी जानकारी
पटना : आखिरकार जदयू ने पार्टी के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष प्रशांत किशोर और राष्ट्रीय महासचिव पवन कुमार वर्मा को बाहर का रास्ता दिखा दिया. एक दिन पहले पार्टी अध्यक्ष और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार पर ट्वीट कर पलटवार करने के बाद ही प्रशांत किशोर के खिलाफ कार्रवाई के संकेत मिलने लगे थे. बुधवार को पार्टी ने औपचारिक पत्र जारी कर दोनों नेताआें की बरखास्तगी की जानकारी मीडिया को दी.
पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव केसी त्यागी के हस्ताक्षर से जारी इस पत्र में लिखा है कि जदयू सामूहिक जिम्मेदारी से चलता है, लेकिन कुछ लोग इस भ्रम के शिकार हो जाते हैं कि पार्टी उनके विचाराें से चलती है. दोनों नेताओं को अनुशासनहीनता का दोषी माना गया है और पार्टी की प्राथमिक सदस्यता सहित अन्य सभी जिम्मेदारियों से तत्काल प्रभाव से मुक्त करने का आदेश दिया गया है.
पत्र में लिखा गया है कि पिछले कई महीनों से पार्टी पदाधिकारी रहते हुए प्रशांत किशोर ने दल के निर्णय के विरुद्ध कई विवादास्पद बयान दिये. यह उनके स्वेच्छाचारिता का परिचायक है. इन वक्तव्यों को दरकिनार करते हुए पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार ने मंगलवार को उनके बारे में कहा था कि वे पार्टी में रहने या कहीं भी जाने के लिए स्वतंत्र हैं.इसकी प्रतिक्रिया स्वरूप प्रशांत किशोर ने राष्ट्रीय अध्यक्ष के विरुद्ध अपमानजनक शब्दों का इस्तेमाल किया.
अनुशासनहीनता स्वीकार नहीं, इसलिए पवन वर्मा भी निकाले गये
पत्र में पवन वर्मा के बारे में लिखा है कि राष्ट्रीय अध्यक्ष नीतीश कुमार ने उन्हें सम्मान दिया, लेकिन उन्होंने सम्मान को संजोने और पार्टी के प्रति समर्पित रहने के बजाय इसे पार्टी की मजबूरी समझी. पार्टी अध्यक्ष को पत्र लिखकर इसे सार्वजनिक करना, उसमें निजी बातों का उल्लेख करना और उसे सार्वजनिक करना यह दर्शाता है कि दल का अनुशासन उन्हें स्वीकार नहीं है.
पीके ने मंगलवार को ट्वीट कर नीतीश पर किया था पलटवार
निष्कासन के बाद पीके व पवन ने दिया धन्यवाद
‘शुक्रिया नीतीश कुमार. मेरी शुभकामना है कि आप बिहार के मुख्यमंत्री पद पर बरकरार रहें. भगवान आपका भला करे.
प्रशांत किशोर
आपका और आपकी नीतियों का बचाव करने की मेरी लगातार बढ़ती स्थिति से मुझे मुक्त करने के लिए नीतीश कुमार जी धन्यवाद.
पवन वर्मा
2015 के चुनाव में पीके ने जदयू के लिए किया था काम, बाद में उपाध्यक्ष बने
2013 में पवन सीएम के बने थे सलाहकार, 2014 में राज्यसभा सदस्य
जदयू ने कहा, दोनों को अनुशासनहीनता का दोषी माना गया है
पीके के तृणमूल कांग्रेस में जाने की अटकलें
कोलकाता : पश्चिम बंगाल के राजनीतिक गलियारे में चर्चा है कि प्रशांत किशोर तृणमूल कांग्रेस में शामिल हो सकते हैं. हालांकि, पार्टी के शीर्ष नेताओं ने इसकी पुष्टि नहीं की, लेकिन निकट भविष्य में ऐसी संभावनाओं को खारिज भी नहीं किया. पार्टी के महासचिव पार्थ चटर्जी ने कहा कि प्रशांत किशोर ने पार्टी के लिए बहुत अच्छा काम किया है. अब वह तृणमूल कांग्रेस से जुड़ेंगे या नहीं, इस बारे में वह और पार्टी के शीर्ष नेतृत्व फैसला करेंगे.
मुख्यमंत्री ने कहा था- अपनी बात कहने को सब आजाद
नीतीश कुमार ने मंगलवार को प्रेस कॉन्फ्रेंस में प्रशांत किशोर और महासचिव पवन वर्मा के बारे में कहा था कि अपनी बात कहने के लिए सभी आजाद हैं.
जब तक इच्छा है पार्टी में रहेंगे, नहीं तो जायेंगे, लेकिन पार्टी में रहेंगे तो इसके बुनियादी ढांचे को स्वीकार करना होगा. ट्वीट करने से कुछ नहीं होता. हमलोग साधारण कैटेगिरी के लोग हैं. एक सवाल के जवाब में सीएम ने कहा था कि प्रशांत किशोर को जदयू में शामिल कराने के लिए अमित शाह ने ही कहा था. इसके जवाब में प्रशांत किशाेर ने कहा था कि राष्ट्रीय अध्यक्ष सही बात नहीं कह रहे. वह बिहार आकर जवाब देंगे.

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