बदलते मौसम का असर, सदर अस्पताल में बढ़ने लगी मरीजों की भीड़

बदलते मौसम का असर, सदर अस्पताल में बढ़ने लगी मरीजों की भीड़

By Kumar Ashish | December 10, 2025 6:51 PM

मधेपुरा. सदर अस्पताल में मौसम का मिजाज बदलते ही मरीजों की भीड़ उमड़ने लगी है. बुधवार को अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड समेत ओपीडी वार्ड में उल्टी, दस्त, पेट खराब, डायरिया जैसे अन्य सामान्य बीमारी वाले मरीजों की भीड़ दिखी. इनमें से लगभग एक दर्जन मरीज अस्पताल के इमरजेंसी वार्ड में भर्ती थे. पांच ऐसे मरीज थे जिनका पेट खराब था. ऐसे मरीजों को इमरजेंसी वार्ड में स्लाइन चढ़ाया गया, जबकि छह मरीज ऐसे थे, जिनको कोल्ड डायरिया, बुकार, उल्टी दस्त जैसी समस्या थी. चिकित्सक के द्वारा बताया कि मौसम में अचानक बदलाव आते हीं प्राय: अस्पताल में सामान्य बीमारी के मरीज बढ़ जाते हैं. इस मौसम में बीमार होने से बचने के लिए शहरवासियों को ताजा भोजन, हरी सब्जी, ज्यादा पानी पीना, स्वस्थ्य भोजन का सेवन करनी चाहिये. साथ ही तेलहन खाना, बाजार के खाना से बचने की सलाह दी गयी. सदर अस्पताल के ओपीडी में बुधवार को पहले शिफ्ट में इलाज कराने पहुंचे मरीजों की भीड़ लगी रही. ओपीडी निर्धारित समय पर खुलते ही टोकन कटवाने के लिए रजिस्ट्रेशन काउंटर पर मरीजों की कतार लग गयी. टोकन कटवाने के बाद मरीज ओपीडी के जनरल कक्ष के बाहर कतार में खड़े हो गये. ओपीडी में तैनात सुरक्षा गार्ड मरीजों को कतारबद्ध करने में मशक्कत करते नजर आये. ओपीडी के पहले शिफ्ट में जनरल कक्ष में चार चिकित्सक मौजूद रहे व मरीजों से घिरे नजर आये. ओपीडी के जनरल कक्ष में इलाज कराने पहुंचे मरीजों में ज्यादातर सर्दी, जुकाम, बुखार से पीड़ित पाये गये. बीपी, शुगर से पीड़ित मरीज इलाज कराने ओपीडी पहुंचे. कई मरीज जोड़ो के दर्द से पीड़ित इलाज कराने ओपीडी पहुंचे. सदर अस्पताल के चिकित्सक डॉ मनोज कुमार ने बताया कि बढ़ते ठंड में ज्यादातर बीपी से पीड़ित मरीज इलाज कराने ओपीडी पहुंच रहे हैं. एक दो सप्ताह पूर्व से बीपी मरीज 25 फीसदी बढ़ा है. उन्होंने बताया कि ठंड में ज्यादातर बीपी से पीड़ित मरीजों की परेशानी बढ़ जाती हैं. बीपी मरीज को ठंड में पूरी एहतियात बरतने की जरूरत है. ठंडा पानी से नहीं नहाना चाहिये. सुबह गुनगुना पानी पीना चाहिये. गर्म कपड़े पहनना चाहिये. गर्म टोपी व मफलर पहनना चाहिये. ओपीडी के शिशु रोग कक्ष में परिजन अपने छोटे-छोटे बच्चे को लेकर कतार में खड़े होकर अपनी बारी का इंतजार करते नजर आये. शिशु रोग कक्ष में चिकित्सक मरीजों से घिरे नजर आये. शिशु रोग कक्ष में मौजूद चिकित्सक डॉ यश शर्मा ने बताया कि ठंड में छोटे छोटे बच्चे ज्यादातर सर्दी,खांसी,बुखार से पीड़ित पाए गए हैं. कई मरीज पेट खराब से पीड़ित इलाज कराने ओपीडी पहुंचे.कुछ बच्चे कोल्ड डायरिया से पीड़ित पाए गए. उन्होंने बताया कि ठंड में बच्चे को गर्म कपड़े पहनाकर रखें.बच्चों के कान, पैर को गर्म कपड़े से ढककर रखें.बच्चे के प्रति लापरवाही नुकसान साबित हो सकता हैं.

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