राजस्व हाट रामनगर बाजार में नहीं है, सार्वजनिक शौचालय व यात्री शेड
राजस्व बाजार में प्रतिदिन शाम को हाट भी लगती है.
– स्थानीय दुकानदार हाट एवं सड़क की जमीन पर भी कब्जा कर लिया
कुमारखंड
प्रखंड के सबसे बड़े राजस्व हाट रामनगर बाजार में आज भी कई मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध नहीं है. इस बाजार से हर साल करीब चार लाख रुपये तक राजस्व सरकारी खजाने में जमा किये जा रहे हैं. इसके बावजूद यहां कई समस्या मुंह बाए खड़ी है. इसके साथ ही स्थानीय दुकानदार हाट के जमीन पर टिना का सेट बनाकर अतिक्रमण कर लिया है तो कुछ लोगों ने तो सड़क की जमीन पर अपना मकान बना कर कब्जा जमा चुके है. इस अतिक्रमण कारियों के खिलाफ कुछ वर्ष पूर्व तत्कालीन सीओ के द्वारा नोटिस भी भेजा गया था. दुर्भाग्यवश ये सिर्फ कागजों में ही दबा रहा गया. जिस पर ना तो किसी सरकारी अधिकारी और ना ही किसी जनप्रतिनिधि का ध्यान जा रहा है. इससे यहां के व्यवसायी, ग्रामीण समेत ग्रामीण इलाके से बाजार आने वाले लोगों को आए दिन काफी दिक्कत का सामना करना पड़ता है. राजस्व बाजार में प्रतिदिन शाम को हाट भी लगती है. जहां आसापास के सैकड़ों खुदरा दुकानदार साग सब्जी,फल,मांस मछली अंडे आदि बेचने आते हैं, लेकिन इस बाजार में एक सार्वजनिक शौचालय नहीं रहने से काफी असुविधा होती है. यही नहीं कुछ वर्ष पहले यहां नाले का निर्माण कराया गया था जो जर्जर हो चुका है और उसका मरम्मत करने और सफाई करने की जरूरत है. यहां से हर दिन सुबह से शाम तक छोटे बड़े यात्री वाहन चलते हैं. लेकिन एक यात्री शेड नहीं रहने से यात्रियों को काफी दिक्कत होती रहती है. बाजार में रहने वाले दुकानदार व ग्रामीण गुणेश्वर चौरसिया, नरसिंह झा , गगण भूषण, मिहिर झा, निर्मल झा, चुनचुन चौरसिया, बिपीन कुमार मोदी, बाबुल झा, नीरज कुमार, गौरीशंकर चौधरी, बमबम कुमार आदि ने कहा कि क्षेत्र के जनप्रतिनिधि व नेता द्वारा इतने बड़े राजस्व बाजार में मूलभूत सुविधाएं उपलब्ध कराने की दिशा में आजतक ठोस पहल नहीं हुई है. चुनाव के समय समस्या याद तो समस्या रहती है, लेकिन जीतने के बाद सब भूल जाते है. लोगों ने कहा कि क्षेत्र के सबसे बड़े राजस्व बाजार में सार्वजनिक शौचालय, शुद्ध पेयजल आपूर्ति,यात्री शेड निर्माण, हाईमास्ट लाइटें की सख्त जरूरत महसूस की जा रही है.
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