लालू फैमिली अब ‘नॉन रेजिडेंट बिहारी’, बोले ललन सिंह- साइबेरिन पक्षी की तरह आते हैं बिहार

दीपावली और छठ के मौके पर राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव का सपरिवार दिल्ली जाना बिहार की सियासत में बहस का मुद्दा बन गया है. जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने इस बहाने लालू प्रसाद पर जोरदार हमला किया है.

By Ashish Jha | November 4, 2021 5:01 PM

पटना. दीपावली और छठ के मौके पर राजद सुप्रीमो लालू प्रसाद यादव का सपरिवार दिल्ली जाना बिहार की सियासत में बहस का मुद्दा बन गया है. जदयू के राष्ट्रीय अध्यक्ष ललन सिंह ने इस बहाने लालू प्रसाद पर जोरदार हमला किया है. उन्होंने कहा है कि इसमें आश्चर्य की कोई बात नहीं है. यह होना ही था. वो लोग बिहार में कब रहते हैं.

लालू फैमिली नॉनरेजिडेंट बिहारी यानी एनआरबी करार देते हुए ललन सिंह ने कहा कि लालू यादव और तेजस्वी यादव को ना तो बिहार से प्रेम है और ना ही बिहार के विकास से प्रेम है. उन दोनों को तो बिहार के लोगों से भी प्रेम नही है. उन लोगों को किसी तरीके से सत्ता में आना हैं.

ललन सिंह ने कहा कि बाढ़ आता है, तब भी वो बिहार से बाहर रहते हैं, कोरोना महामारी में भी लालू फैमली दिल्ली में दुबकी थी. चुनाव आया तो प्रचार करने आये और चुनाव खत्म हुआ, हार गये तो दिल्ली चले गये. दीपावली छठ अब वही मनायेंगे.

ललन सिंह ने लालू फैमिली की तुलना साइबेरियन पक्षी से करते हुए कहा कि ठंड के मौसम में जिस तरह साइबेरियन पक्षी भारत आते हैं और ठंड समाप्त होते हैं, वहां से चले जाते हैं उसी तरीके से लालू फैमिली हैं. चुनाव आते ही आते हैं और चुनाव हारते ही चले जाते हैं.

ललन सिंह ने सीएम नीतीश कुमार और लालू प्रसाद के बीच अंतर बताते हुए कहा कि लालू सिर्फ अपना घर भरने की चिंता करते हैं, जबकि मुख्यमंत्री नीतीश कुमार को पूरे बिहार की चिंता है बिहार कैसे तरक्की करें और कैसे विकसित राज्य बने इसे लेकर वे दिन रात काम करते हैं. उन्होंने बिहार के विकास के लिए बहुत सारे काम भी किए और कर भी रहे हैं. बिहार की जनता को भी यह बात मालूम है.

जदयू अध्यक्ष ने कहा कि लालू यादव ने कभी सोचा नहीं होगा कि बिहार का बजट 2 लाख 18 हज़ार करोड़ का होगा, यह नीतीश कुमार की सरकार बनी, तभी संभव हुआ है. लालू फैमिली का एक ही काम है माल बनाना. ललन ने कहा कि सामाजिक कार्यकर्ता के रूप में वो दोनों पिता-पुत्र बिहार रहना ही नहीं चाहते हैं. जनता ने अपना फैसला सुना दिया तो दिल्ली चले गये.

Posted by Ashish Jha

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