hajipur news. बाढ़पीड़ितों के लिए राहत की मांग को लेकर भाकपा माले ने किया प्रदर्शन
वैशाली कला मंच पर प्रदर्शनकारियों की सभा हुई, कार्यक्रम का नेतृत्व पार्टी जिला सचिव विशेश्वर प्रसाद यादव एवं जिला कमेटी सदस्य रामबाबू भगत ने किया
हाजीपुर. बाढ़पीड़ितों को राहत समेत अन्य मांगों को लेकर भाकपा माले के बैनर तले बुधवार को जिलाधिकारी के समक्ष प्रदर्शन किया गया. राघोपुर प्रखंड की तेरसिया पंचायत के सैकड़ों बाढ़पीड़ित प्रदर्शन में शामिल थे. स्थानीय वैशाली कला मंच पर प्रदर्शनकारियों की सभा हुई. कार्यक्रम का नेतृत्व पार्टी जिला सचिव विशेश्वर प्रसाद यादव एवं जिला कमेटी सदस्य रामबाबू भगत ने किया. प्रदर्शनकारियों ने तेरसिया पंचायत के वार्ड नंबर एक और दो सहित पूरे राघोपुर प्रखंड में अविलंब बाढ़ राहत मुहैया कराने, राहत के रूप में अगले छह महीने तक सूखा राशन, नगद राशि, पशु चारा देने, बाढ़ में जिनका मकान गिर गया है, उन्हें प्राथमिकता के आधार पर पक्का मकान देने, बाढ़ में डूब कर मरने वाले लोगों के परिजनों को एवं जिनके पशु बाढ में डूब कर मरे हैं उन पशुपालकों को मुआवजा देने, मतदाता सूची के विशेष गहन पुनरीक्षण में जिन मतदाताओं के नाम ड्राफ्ट वोटर लिस्ट में नहीं आये और वे जीवित हैं, उनके नाम जोड़ने के लिए बूथ स्तर पर कैंप लगाने, एसआइआर के बहाने गरीबों के नाम मतदाता सूची से हटाने की साजिश पर रोक लगाने की मांग की. सभा में माले जिला सचिव विशेश्वर प्रसाद यादव, रामबाबू भगत, उमेश महतो, शिवचंद्र महतो, वीरचंद्र पासवान, सिपाही महतो, जटही देवी, सुरेंद्र प्रसाद सिंह, पवन कुमार सिंह, संगीता देवी, मो खलील, मजिंदर साह, गोपाल पासवान, रामनिवास प्रसाद यादव, हरि कुमार राय, बच्चाबाबू, रामवृक्ष राय आदि ने विचार रखे. वक्ताओं ने कहा कि अखबारों में हर दिन राहत कार्य चलाने की खबरें आती रही हैं, लेकिन धरातल पर राघोपुर प्रखंड में कहीं भी सामुदायिक किचन नहीं चला. तेरसिया पंचायत में राहत के नाम पर एक प्लास्टिक भी नहीं दी गयी है. नेताओं ने आरोप लगाया कि सरकार जनता के न्यूनतम लोकतांत्रिक अधिकार को समाप्त करने के लिए एसआइआर के बहाने मतदाता सूची से नाम हटवा रही है. नाम जोड़ने का फॉर्म 6 आमतौर पर बीएलओ स्वीकार नहीं कर रहे. जिला प्रशासन धरना-प्रदर्शन करने के लोकतांत्रिक अधिकार को भी रोकना चाहती है. धरना के लिए कहीं कोई शेड नहीं बना है. स्वाभाविक रूप से जनता अपनी मांगों को लेकर डीएम कार्यालय के समक्ष धरना-प्रदर्शन करेगी. इस पर भी जिला प्रशासन मनाही कर रही है. इस संवैधानिक अधिकार को कायम रखने के लिए सभी राजनीतिक पार्टियों से आवाज उठाने की अपील की.
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