संविधान में रखो आस्था, मत चुनो गलत रास्ता

बरौली. हमारा संविधान लोकतंत्र की आत्मा है, यह हमें हमारे अधिकारों तथा कर्तव्यों के साथ जीना सिखाती है.

By SANJAY TIWARI | November 26, 2025 7:06 PM

बरौली. हमारा संविधान लोकतंत्र की आत्मा है, यह हमें हमारे अधिकारों तथा कर्तव्यों के साथ जीना सिखाती है. हम सभी भारतीयों के लिए 26 नवंबर गर्व का दिन है. ये वह दिन है, जब भारत में ऐसी किताब बनकर तैयार हुई, जिसने हर भारतीय को समानता का अधिकार दिया, हर भारतीय को खुलकर जीने का अधिकार दिया, हर भारतीय को अपने फैसले खुद लेने का अधिकार दिया. उक्त बातें संविधान दिवस पर प्रखंड के स्कूलों में गूंज रही थी तथा लोगों को संविधान के बारे में बता कर उनको जागरूक करने का कार्यक्रम चल रहा था. कहीं किसी स्कूल में प्रभातफेरी हो रही थी, तो कहीं नशे से होने वाले नुकसान के बारे में बताकर उनको नशे से दूर रहने की बात बतायी जा रही थी. प्रखंड के अधिकतर स्कूलों में यह कार्यक्रम आयोजित हुए. प्रावि बलरा में छात्रों ने एचएम पुनीता कुमारी, उमवि बेलसंड नारायण में एचएम ग्यासुदीन अहमद आदि के नेतृत्व में छात्रों ने चेतना सत्र में संविधान के रक्षा करने तथा उसका अनुपालन करने की शपथ ली तथा नशामुक्ति पर जागरूकता अभियान चलाया. एचएम पुनीता कुमारी ने छात्रों को बताया कि हमारे संविधान को बनाने में कुल दो वर्ष, 11 माह और 18 दिन का समय लगा था और 26 नवंबर 1949 को हमारा संविधान पूरा बनकर तैयार हुआ. हमारे देश का संविधान पूरी दुनिया का सबसे बड़ा लिखित संविधान है. वहीं ग्यासुद्दीन अहमद ने बताया कि हमारा संविधान समानता, न्याय, स्वतंत्रता और बंधुत्व जैसे मूल्यों का संरक्षक है. यह केवल एक कानूनी दस्तावेज नहीं, बल्कि हर नागरिक के सम्मान और अधिकारों की गारंटी है. संविधान दिवस मनाने की घोषणा प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने की थी और इसे 26 नवंबर 2015 से मनाया जा रहा है. इस दिन को राष्ट्रीय कानून दिवस के रूप में भी मनाया जाता है. भारतीय संविधान को तैयार करने में डाॅक्टर भीमराव आंबेडकर का अहम योगदान रहा है.

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