Gopalganj News : आतंकियों की गोली से शहीद हुए विजयीपुर के जवान हदीश अंसारी का पार्थिव शरीर पहुंचते ही गांव में उमड़ा जनसैलाब
Gopalganj News : विजयीपुर प्रखंड की भरपुरवा पंचायत के नवका टोला गांव में मंगलवार को शोक की लहर दौड़ गयी, जब गांव के वीर सपूत सेना के जवान हदीश अंसारी का पार्थिव शरीर तिरंगे में लिपटा पहुंचा.
विजयीपुर.विजयीपुर प्रखंड की भरपुरवा पंचायत के नवका टोला गांव में मंगलवार को शोक की लहर दौड़ गयी, जब गांव के वीर सपूत सेना के जवान हदीश अंसारी का पार्थिव शरीर तिरंगे में लिपटा पहुंचा.
रविवार को हुई थी शहादत
रविवार को नगालैंड के कोहिमा बाॅर्डर पर आतंकियों के हमले में गोली लगने से उनकी शहादत हो गयी थी. जानकारी के अनुसार, हदीश अंसारी कोहिमा बाॅर्डर पर अपने कैंप में ड्यूटी पर तैनात थे, तभी आतंकियों ने अचानक गोलीबारी शुरू कर दी. गोली उनके गर्दन में लगने से मौके पर ही उनकी मौत हो गयी. इसी हमले में एक अन्य जवान, जो बिहार के ही रहने वाले थे, शहीद हो गये.
दो साल बाद रिटायर होने वाले थे हदीश
शहीद जवान भोजा मियां के मंझले पुत्र थे और चार भाइयों में दूसरे नंबर पर थे. वे विवाहित थे. उनकी पत्नी जइयन खातून हैं. उनके चार बेटे और दो बेटियां हैं, सभी की शादी हो चुकी है. परिवार के सदस्यों के अनुसार, हदीश अंसारी पिछले बुधवार को ही छुट्टी समाप्त कर कोहिमा लौटे थे और सात दिन बाद ही यह दुखद समाचार मिला. उनकी सिर्फ दो वर्ष की सेवा शेष थी, जिसके बाद वे रिटायर होने वाले थे.
हदीश अमर रहे के नारे से गूंजा इलाका
मंगलवार की सुबह जब शहीद का पार्थिव शरीर गांव पहुंचा, तो पूरा क्षेत्र शोकाकुल हो उठा. हजारों ग्रामीण अंतिम दर्शन के लिए उमड़ पड़े. महिलाओं की आंखों से आंसू नहीं थम रहे थे .“हदीश अमर रहे” के नारे से पूरा वातावरण गूंज उठा. शहीद जवान को अंतिम सलामी देने के लिए सूबे के शिक्षा मंत्री सुनील कुमार, विजयीपुर थानाध्यक्ष रविशंकर कुमार, सीआरपीएफ इंस्पेक्टर, महिला दारोगा सुनीता कुमारी सहित बड़ी संख्या में पुलिस व प्रशासनिक अधिकारी मौके पर पहुंचे. सीआरपीएफ की एक टुकड़ी ने शहीद को गार्ड ऑफ ऑनर दिया.
शिक्षा मंत्री ने शहीद के शव को दिया कंधा
अंतिम यात्रा के दौरान शिक्षा मंत्री सुनील कुमार ने स्वयं शहीद के शव को कंधा देकर उन्हें भावभीनी श्रद्धांजलि अर्पित की. गांव के निकट कब्रिस्तान में पूरे राजकीय सम्मान के साथ शहीद जवान हदीश अंसारी को दफन किया गया. शहीद की शौर्यगाथा अब विजयीपुर और आसपास के गांवों में गर्व और बलिदान की मिसाल बन गई है. लोग कह रहे थे कि “हदीश ने देश की रक्षा करते हुए प्राण न्योछावर किये, ऐसे सपूत पर पूरा बिहार नाज करता है.”
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