Darbhanga News: ट्रैक्टर से कुचलकर बच्चे की मौत से आक्रोशित ग्रामीण आधी रात बाद तक करते रहे बवाल
Darbhanga News:मब्बी थाना क्षेत्र के केतुका गांव में मंगलवार की रात सड़क हादसे में मासूम की मौत के बाद आक्रोशित ग्रामीणों ने जमकर बबाल मचाया.
Darbhanga News: सदर. मब्बी थाना क्षेत्र के केतुका गांव में मंगलवार की रात सड़क हादसे में मासूम की मौत के बाद आक्रोशित ग्रामीणों ने जमकर बबाल मचाया. 11 वर्षीय मासूम की मौत से गुस्साए लोगों ने ट्रैक्टर मालिक जयराम यादव के घर पर हमला बाेल दिया. घर में घुसकर दरवाजे, खिड़कियां, आलमीरा, पंखे, कुर्सी, जेसीबी मशीन, बाइक व अन्य कीमती सामानों की तोड़फोड़ की. दरवाजा पर बंधी गायों को भी नहीं बख्शा और उसे भी पीट डाला. घायल जानवरों का इलाज चल रहा है. घरवालों का आरोप है कि भीड़ ने आलमीरा में रखे आठ से नौ तोले सोने के गहने व करीब तीन लाख 50 हजार नकद भी लूट लिए. इसके अलावा ट्रैक्टर को क्षतिग्रस्त कर चालक के साथ मारपीट की. देर रात तक उत्पात मचा रहा व वहां मौजूद पुलिस मूकदर्शक बनी रही. रात करीब डेढ़ बजे पुलिस ने लोगों को किसी तरह शांत कराया. गांव में बुधवार को भी तनावपूर्ण माहौल बना रहा. ट्रैक्टर मालिक का पूरा परिवार डरा-सहमा नजर आया. पुलिस की मौजूदगी के बावजूद मंगलवार की रात प्रशासन बेबस बनी रही, जिससे ग्रामीणों का आक्रोश भड़क गया. इस पूरी घटना की शुरुआत मंगलवार की शाम उस समय हुई, जब मिट्टी लदे ट्रैक्टर से दबकर गांव के ही मुकेश सहनी के 11 वर्षीय पुत्र आदर्श कुमार की मौत मौके पर ही हो गयी. हादसे के तुरंत बाद चालक ने शव को ट्रैक्टर में लदी मिट्टी से ढकने की कोशिश की. इसी दौरान कुछ ग्रामीणों की नजर पड़ी. ग्रामीणों ने चालक को पकड़ लिया. इसके बाद गुस्साए ग्रामीणों ने हंगामा शुरू कर दिया. पुलिस को सूचना दी. पुलिस के देर से पहुंचने के कारण ग्रामीणों का गुस्सा और बढ़ गया. लोगों ने गांव की मुख्य सड़क को जाम कर दिया. ट्रैक्टर मालिक को बुलाने तथा पीड़ित परिवार को मुआवजा देने की मांग करने लगे. ग्रामीणों का आरोप है कि यह एक साधारण हादसा नहीं है. दोषियों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए. हालात की गंभीरता को देखते हुए मब्बी थानाध्यक्ष सुशील कुमार सदल-बल मौके पर पहुंचे. बाद में एसडीपीओ अमित कुमार भी अन्य थानों की पुलिस बल के साथ पहुंचे. स्थिति को नियंत्रित करने का प्रयास किया, लेकिन भीड़ देर रात तक घटनास्थल पर डटी रही. इधर पोस्टमार्टम के बाद बुधवार की दोपहर शव के गांव पहुंचते ही माहौल पूरी तरह गमगीन हो उठा. परिजनों का रो-रो कर बुरा हाल था. मां-बाप की हालत देख वहां मौजूद हर व्यक्ति की आंखें नम हो जा रही थी. गांव के पूर्व मुखिया शमसे आलम सहित कई जनप्रतिनिधि मौके पर पहुंचे. लोगों को समझाने का प्रयास किया, परंतु लोग अपनी मांगों पर अड़े रहे. थानाध्यक्ष सुशील कुमार ने बताया कि अभीतक दोनों पक्षों की ओर से कोई आवेदन नहीं मिला है. आवेदन मिलने पर प्राथमिकी दर्ज की जाएगी. फिलहाल गांव में सुरक्षा व्यवस्था कड़ी कर दी गयी है. लोगों का गुस्सा अभी भी शांत नहीं हुआ है.
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