60 घंटे में यार्ड में दूसरी बर्निंग ट्रेन बना स्पेयर रैक

सुबह अचानक बोगी से उठने लगा धुंआ का गुबार, मुहल्लावासी आग बुझाने में तत्पर दिखे लोग रेक से दूसरी बोगियों को लोगों ने धक्का देकर किया सुरक्षित रेलवे कॉलोनी के रास्ते पहुंच सकी अग्निशमन विभाग की गाड़ियां दरभंगा : महज 60 घंटे के भीतर दूसरी ट्रेन दरभंगा जंक्शन के यार्ड में आग की भेंट चढ़ […]

By Prabhat Khabar Print Desk | September 8, 2019 3:17 AM

सुबह अचानक बोगी से उठने लगा धुंआ का गुबार, मुहल्लावासी आग बुझाने में तत्पर दिखे लोग

रेक से दूसरी बोगियों को लोगों

ने धक्का देकर किया सुरक्षित

रेलवे कॉलोनी के रास्ते पहुंच सकी अग्निशमन विभाग की गाड़ियां

दरभंगा : महज 60 घंटे के भीतर दूसरी ट्रेन दरभंगा जंक्शन के यार्ड में आग की भेंट चढ़ गयी. बुधवार की रात संपर्क क्रांति के स्लीपर कोच में लगी आग का मामला अभी चल ही रहा था कि शनिवार की सुबह फिर से यार्ड में खड़े स्पेयर रेक की एक बोगी में आग लग गयी. आसमान में धुंआ का गुबार गहरा छा गया.

आग की लपटें निकलने लगी. लोग जुट गये. रेल कर्मी व अधिकारी पहुंचे. अग्निशमन विभाग को खबर की, लेकिन उसकी गाड़ी बेला गुमटी से आगे घटनास्थल तक नहीं पहुंच सकी. बाद में रेलवे कॉलोनी के रास्ते छोटी गाड़ियों से पानी पहुंचाया गया. हालांकि इस हादसे में स्थानीय लोगों ने जिस तरह से अपनी भूमिका का निर्वाह किया, वह काबिलेतारीफ है. अगल-बगल के लोग जहां अपने घर से पाइप लगा आग बुझाने में जुट गये, वहीं कई लोग बाल्टी के सहारे भी पानी फेंकने लगे. इतना ही नहीं, अन्य बोगियों को बचाने के लिए जब तक एक तरफ से बोगी को अलग कर इंजन के सहारे रेल अधिकारी दूर ले जाते तब तक वहां जुटे लोगों ने दूसरे साइड की बोगियों को धक्का देकर दूर हटा दिया. रेल अधिकारी भी लोगों की हिम्मत व सूझबूझ के साथ रेल संपति की सुरक्षा के प्रति चिंता देख सुखद आश्चर्य में पड़ गये. जेनरल बोगी खाक हो गयी.

वीआइपी रोड पर धुंआ से छाया अंधेरा धुंआ का गुबार इतना गहरा था कि अगल-बगल के मुहल्लावासी एक पल के लिए दहशत में आ गये. समझ में ही नहीं आ रहा था कि आखिर धुंआ छा कैसे रहा है. जानकारी हुई तो घटनास्थल की ओर दौड़ पड़े. वीआइपी रोड पर अंधेरा इस कदर छा गया कि साढ़े नौ बजे तक कुछ नजर नहीं आ रहा था. चालकों को लाइट जला गाड़ी चलानी पड़ी.

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