नया भोजपुर थाने को अगस्त तक मिलेगा नया भवन

जर्जर हो चुके नया भोजपुर थाने को अगस्त तक नया भवन मिलने की उम्मीद है. प्रस्तावित मॉडल भवन योजना का बुधवार की दोपहर पुलिस भवन निर्माण निगम के डीजी सह सीएमडी आलोक राज ने समीक्षा की.

By AMLESH PRASAD | March 19, 2025 10:23 PM

डुमरांव.

जर्जर हो चुके नया भोजपुर थाने को अगस्त तक नया भवन मिलने की उम्मीद है. प्रस्तावित मॉडल भवन योजना का बुधवार की दोपहर पुलिस भवन निर्माण निगम के डीजी सह सीएमडी आलोक राज ने समीक्षा की. उनके साथ डीआईजी सत्यप्रकाश, एसपी शुभम आर्य, एसडीपीओ अफाक अख्तर अंसारी सहित अन्य पुलिस पदाधिकारी मौजूद थे. समीक्षा के दौरान डीजी को योजना के कार्य की प्रगति की जानकारी दी गई. मॉडल भवन के लिए पहले चरण में एसपीटी यानी मिट्टी जांच की प्रक्रिया पूरी कर ली गयी है. लैब सैंपल की रिपोर्ट के आधार पर निर्माण योजना का डीपीआर तैयार होगा और उसके बाद निविदा का प्रकाशन व निर्माण एजेंसी का चयन कर कार्य शुरू होगा. गुणवत्ता से समझौता नहीं : डीजी ने निर्माण कार्य की गुणवत्ता मानक के अनुसार रखने का भी निर्देश दिया की एसपीटी जांच के बाद शीघ्र एजेंसी का चयन कर निर्माण कार्य को शुरू कराया जाये. उन्होंने कहा कि कोशिश हो कि अगले माह तक भवन निर्माण का कार्य शुरू हो जाये. इस निर्देश से उम्मीद है कि 23 साल बाद नया भोजपुर थाने को अपना भवन मिल जायेगा. थाने का भवन निर्माण जी 3 स्ट्रक्चर के आधार पर होगा.

साइट प्लान भी तैयार : मिट्टी जांच (स्टैंडर्ड पेनेट्रेशन टेस्ट) का जिम्मा शुभम कंसलटेंस कंपनी को दी गयी थी. बिहार पुलिस भवन निर्माण निगम ने पत्रांक 3118 दिनांक 4 फरवरी 2025 के माध्यम से निर्देश जारी कर निर्माण कार्य हेतु मिट्टी जांच का कार्यभार निजी कंपनी को सौंपा था. थाने के मॉडल भवन के लिए साइट प्लान भी तैयार कर लिया गया है. थाने के कुल कैंपस की लंबाई 180 फीट और चौड़ाई 190 फीट है. इसमें 100 फीट लंबा और 80 फीट चौड़े भवन का निर्माण होगा.

थाने में महिला पदाधिकारी नहीं : नया भोजपुर थाने में एक भी महिला पदाधिकारी या महिला सिपाही नहीं है. नये भवन निर्माण के बाद यह कमी दूर हो सकेगी. साथ ही जर्जर भवन की जोखिम से पुलिसकर्मियों को भी निजात मिल सकेगी. थाने में तैनात 21 पुलिस कर्मी निर्माण कार्य को लेकर प्रसन्न हैं.

गिर रहीं थाने की दीवारें : थाना जर्जर पेपर मिल के छोड़े हुए भवन में 23 वर्षों से चल रहा है. इसकी दीवारें भरभराकर गिर रही हैं. बारिश में छत से पानी टपकता है. दिन हो या रात हमेशा सांप-बिच्छु निकलते रहते है. थाना प्रभारी कक्ष और हाजत एक ही हॉल में है. हाजत में तीन से अधिक अपराधी नहीं रह सकते. रिसाव से दीवारों में करंट भी आ जाता है.

क्या कहते हैं डीजी

थाने के प्रस्तावित भवन निर्माण योजना की समीक्षा की गयी. वर्तमान में भवन की स्थिति जर्जर है. नये भवन निर्माण के लिए मिट्टी जांच की प्रक्रिया पूरी हो गयी है. शीघ्र काम शुरू होगा और यहां नये रूप में थाना देखने को मिलेगा.

आलोक राज, डीजी सह सीएमडी, पुलिस भवन निर्माण निगम

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