जिले में लगातार 11 दिनों से सर्दी का सितम जारी
जिले में बीते करीब 11 दिनों से सर्दी का सितम लगातार जारी है. दिन में हालांकि धूप कुछ घंटे के लिए निकल रही है, इसके बावजूद लोगों को ठंड से कोई राहत नहीं मिल रही है.
बिहारशरीफ. जिले में बीते करीब 11 दिनों से सर्दी का सितम लगातार जारी है. दिन में हालांकि धूप कुछ घंटे के लिए निकल रही है, इसके बावजूद लोगों को ठंड से कोई राहत नहीं मिल रही है. जिले का अधिकतम तापमान गिरकर 17 डिग्री पर जबकि न्यूनतम तापमान कई दिनों से लगातार 9 डिग्री पर बना हुआ है. इससे दिन ढलते ही लोगों को घरों में दुबकना मजबूरी हो गया है. शहर की दुकानें शाम 7:00 बजे के बाद से ही बंद होनी शुरू हो जाती है, तथा सड़कों पर आवा-जाही कम हो जाने से जल्दी ही बाजारों में सन्नाटा पसर जाता है. सुबह के समय आसमान में बादल छाए रहने के कारण जहां सूरज काफी देर से निकल रहा है, वही ठंडी पछुआ हवाएं तापमान को नीचे लाने में मददगार बन रहा है. इससे जिले में कड़ाके की ठंड का दौर लगातार जारी है. दिन में हल्की धूप रहने के बावजूद भी तापमान में विशेष वृद्धि नहीं हो पा रहा है. विशेष रूप से उच्चतम तथा न्यूनतम तापमान का फासला काफी कम होने से लोगों को 24 घंटे ठंड का सामना करना पड़ रहा है. लोग धूप निकलने पर तेजी से अपना काम निपटाना के बाद अपने-अपने घरों को लौट जा रहे हैं. शुक्रवार को जहां जिले का अधिकतम तापमान लगभग 19 डिग्री तथा न्यूनतम तापमान लगभग 9 डिग्री के पास था. वही धूप निकलने के बावजूद उत्तम तापमान में पछुआ ठंडी हवाओं के बहने से और गिरावट आई है. लगातार कम होते तापमान के कारण बच्चों, बुजुर्गों और बीमार लोगों को परेशानी झेलनी पड़ रही है. घरों में भी लोग अलाव, अंगीठी और रूम हीटर के पास रहकर ही राहत महसूस कर रहे हैं.
जिले के स्कूल बंद होने से मिली राहत:-
जिला पदाधिकारी के निर्देशानुसार जिले के प्री स्कूल तथा आंगनबाड़ी से लेकर दसवीं कक्षा तक के सभी स्कूलों तथा कोचिंग संस्थानों में पठन-पाठन स्थगित कर दिया गया है. इससे बच्चों के साथ-साथ उनके अभिभावक भी काफी राहत महसूस कर रहे हैं. सुबह-सुबह बच्चों को नाश्ता आदि देखकर तैयार करना तथा फिर स्कूल पहुंचाने से अभिभावकों को भी राहत मिली है. बच्चे भी अपने-अपने घरों में रहकर सुरक्षित महसूस कर रहे हैं. फिलहाल स्कूलों में पठन-पाठन 31 दिसंबर तक स्थगित कर दिया गया है .यदि इसके बावजूद तापमान में वृद्धि तथा ठंड में राहता नहीं होती है तो एक बार फिर जिला प्रशासन को स्कूलों के संचालन पर निर्णय लेने की आवश्यकता पड़ सकती है.
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