सोनिया गांधी के खिलाफ FIR की मांग वाली याचिका खारिज, बिना नागरिकता वोटर बनने का था आरोप

Sonia Gandhi Citizenship: पूर्व कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी को कोर्ट से बड़ी राहत मिली है. राउज एवेन्यू कोर्ट ने उनके खिलाफ दायर आपराधिक शिकायत को खारिज कर दिया है. जिसमें उन पर भारतीय नागरिकता प्राप्त करने से पहले मतदाता सूची में नाम दर्ज कराने के लिए दस्तावेजों में जालसाजी करने का आरोप लगाया गया था.

By ArbindKumar Mishra | September 11, 2025 6:10 PM

Sonia Gandhi Citizenship: दिल्ली की राउज एवेन्यू कोर्ट ने कांग्रेस नेता सोनिया गांधी के खिलाफ कार्रवाई की मांग वाली उस याचिका को खारिज कर दिया, जिसमें आरोप लगाया गया था कि उनका नाम भारतीय नागरिक बनने से तीन साल पहले ही मतदाता सूची में शामिल कर लिया गया था. अतिरिक्त मुख्य न्यायिक मजिस्ट्रेट वैभव चौरसिया ने याचिका खारिज कर दी.

याचिकाकर्ता ने क्या लगाया था आरोप?

शिकायतकर्ता विकास त्रिपाठी की ओर से वरिष्ठ अधिवक्ता पवन नारंग ने 10 सितंबर को कहा कि जनवरी 1980 में सोनिया गांधी का नाम नई दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र के मतदाता के रूप में जोड़ा गया था, जबकि वह भारतीय नागरिक नहीं थीं. उन्होंने कहा, ‘‘पहले आपको नागरिकता की प्रक्रिया पूरी करनी होती है, तभी आप किसी क्षेत्र के निवासी बनते हैं.’’ नारंग ने कहा कि 1980 में निवास का प्रमाण संभवतः राशन कार्ड और पासपोर्ट था. उन्होंने कहा, ‘‘अगर वह नागरिक थीं, तो 1982 में उनका नाम क्यों हटाया गया? उस समय निर्वाचन आयोग ने दो नाम हटाए थे, एक संजय गांधी का, जिनकी विमान दुर्घटना में मृत्यु हो गई थी, और दूसरा सोनिया गांधी का.’’ नारंग ने चार सितंबर को कहा कि सोनिया गांधी का नाम 1980 में नई दिल्ली निर्वाचन क्षेत्र की मतदाता सूची में शामिल था, जिसे 1982 में हटा दिया गया था और 1983 में भारतीय नागरिकता प्राप्त करने के बाद फिर से दर्ज किया गया.

याचिका भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता के तहत दायर की गई थी

यह याचिका भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता (बीएनएसएस) की धारा 175 (4) (मजिस्ट्रेट को जांच का आदेश देने की शक्ति) के तहत दायर की गई थी, जिसमें पुलिस को इस आरोप की जांच करने के निर्देश देने की मांग की गई थी कि सोनिया 1983 में भारतीय नागरिक बनीं, लेकिन उनका नाम 1980 की मतदाता सूची में था. याचिकाकर्ता ने कुछ जालसाजी’ होने और सार्वजनिक प्राधिकरण के साथ ‘धोखाधड़ी’ होने का दावा किया. नारंग ने कहा था, ‘‘मेरा इतना सा अनुरोध है कि पुलिस को उचित धाराओं के तहत प्राथमिकी दर्ज करने का निर्देश दिया जाए.’’