मालदीव और लक्षद्वीप पर उलझे रहे लोग, केंद्र सरकार ने ले लिया बड़ा फैसला, यहां बनेगा नया एयरपोर्ट

लक्षद्वीप पर एयरपोर्ट बन जाने से भारत को सुरक्षा के दृष्टिकोण से रणनीतिक बढ़त मिलेगी. भारतीय सेना के लिए अरब सागर और हिंद महासागर में निगरानी करना और आसान हो जाएगा. इसके अलावा कमर्शियल एयरपोर्ट भी रहने के कारण पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा.

By Pritish Sahay | January 9, 2024 5:18 PM

पूरी दुनिया की नजर लक्षद्वीप और मालदीव विवाद पर जमी है. वहीं, भारत सरकार अलग ही योजना पर काम कर रही है. भारत सरकार का लक्षद्वीप को लेकर अलग प्लान सामने आया है. खबर है कि केंद्र सरकार लक्षद्वीप के मिनिकॉय आइलैंड पर एयरपोर्ट बनाने की दिशा में काम कर रही है. न्यूज मैगजीन इंडिया टुडे की एक रिपोर्ट के मुताबिक केंद्र सरकार लक्षद्वीप में एक एयरपोर्ट बनाने की योजना बना रही है. इसमें  कमर्शियल विमानों के साथ-साथ मिलिट्री फ्लाइट्स भी उड़ान भरेंगी.

इंडिया टुडे की रिपोर्ट के मुताबिक पहले यहां सिर्फ मिलिट्री इस्तेमाल के लिए एयरफील्ड बनाने का प्रस्ताव था, लेकिन बाद में इसे संशोधित कर कमर्शियल विमानों के लिए भी विकसित करने पर सहमति बन रही है. गौरतलब है कि यहां मिलट्री एयरपोर्ट बनाने का मकसद है कि दुश्मनों और ज्यादा निगरानी और विषम परिस्थिति में उनके खिलाफ इस एयरपोर्ट का इस्तेमाल किया जा सकेगा. सरकार ने पहले भी मिनिकॉय द्वीप पर नया एयरपोर्ट बनाने का प्रस्ताव रखा था. लेकिन अब इसे संयुक्त एयरफील्ड के रूप में विकसित करने की तैयारी चल रही है.

सुरक्षा होगी और मजबूत
लक्षद्वीप पर एयरपोर्ट बन जाने से भारत को सुरक्षा के दृष्टिकोण से रणनीतिक बढ़त मिलेगी. भारतीय सेना के लिए अरब सागर और हिंद महासागर में निगरानी करना और आसान हो जाएगा. इसके अलावा कमर्शियल एयरपोर्ट भी रहने के कारण पर्यटन को भी बढ़ावा मिलेगा. गौरतलब है कि फिलहाल लक्षद्वीप के अगात्ती द्वीप पर एक हवाई पट्टी मौजूद है. लेकिन इस हवाई पट्टी पर सभी तरह के विमानों का संचालन नहीं हो सकता है.

गौरतलब है कि बीते दिनों मालदीव के कुछ मंत्रियों की ओर से पीएम मोदी पर किए गए आपत्तिजनक बयान के बाद भारत और मालदीव के रिश्तों में कुछ खटास आ गया है. उनके बयानों की हर ओर निंदा हो रही है. मीडिया रिपोर्ट के मुताबिक सरकार ने बयानबाजी करने वाले मंत्रियों को बर्खास्त कर दिया है. वहीं, बयानबाजी और भारत के विरोध के बाद पूरा मालदीव बैकफुट पर आ गया है. मालदीव में विपक्षी दल सरकार पर ऐसे बयानबाजी के लिए हमलावर हैं. मालदीव का टूरिज्म विभाग भी अब घुटनों के बल आ गया है.वहीं मालदीव एसोसिएशन ऑफ टूरिज्म इंडस्ट्री (MATI) ने कहा है कि वो ऐसे अपमानजनक टिप्पणियों की कड़ी निंदा करता है.

Also Read: Red Sea Crisis: भारतीय निर्यात में आ सकती है 30 अरब डॉलर की गिरावट, जानिए क्या है कारण

Next Article

Exit mobile version