LPU ने क्रिस्प के साथ किया एमओयू, उच्च शिक्षा सुधार की दिशा में बड़ा कदम

LPU MoU with CRISP: लवली प्रोफेशनल यूनिवर्सिटी यानी एलपीयू ने पॉलिसी थिंक-टैंक सेंटर फॉर रिसर्च इन स्कीम्स एंड पॉलिसीज यानी क्रिस्प के साथ एक अहम एमओयू साइन किया है. यह साझेदारी सिर्फ एक कागजी करार नहीं है, बल्कि भारत में उच्च शिक्षा के स्तर को बदलने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है.

By Ravi Mallick | November 15, 2025 6:55 PM

LPU MoU with CRISP: लवली प्रोफेशनल यूनिवर्सिटी यानी LPU ने पॉलिसी थिंक-टैंक सेंटर फॉर रिसर्च इन स्कीम्स एंड पॉलिसीज यानी क्रिस्प के साथ एक अहम एमओयू साइन किया है. यह साझेदारी सिर्फ एक कागजी करार नहीं है, बल्कि भारत में उच्च शिक्षा के स्तर को बदलने की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है. खास बात यह है कि क्रिस्प के साथ जुड़ने वाली एलपीयू देश की दूसरी यूनिवर्सिटी बन गई है, जिससे इसकी पहचान शिक्षा सुधार और एकेडमिक इनोवेशन में आगे बढ़ने वाली संस्थाओं में होने लगी है.

एलपीयू क्रिस्प के साथ पार्टनरशिप करने वाली देश की दूसरी यूनिवर्सिटी बन गई है. इससे यह साफ हो जाता है कि एलपीयू अब उन चुनिंदा संस्थानों में शामिल हो गया है जो एकेडमिक इनोवेशन, रिसर्च और गवर्नेंस रिफॉर्म के क्षेत्र में गंभीरता से काम कर रहे हैं.

LPU MoU with CRISP: दिखेगा पार्टनरशिप का असर

क्रिस्प लंबे समय से सरकार की योजनाओं, नीतियों और शिक्षा सुधारों पर रिसर्च करता आया है. अब जब यह एक्सपर्ट संस्था एलपीयू के साथ जुड़ी है, तो छात्रों और दोनों संस्थानों को एक नए स्तर का रिसर्च माहौल मिलेगा. इस पार्टनरशिप का असर आने वाले समय में छात्रों की पढ़ाई और सामाजिक समझ पर गहराई से दिखाई देगा.

एलपीयू के फाउंडर चांसलर डॉ अशोक कुमार मित्तल ने इस एमओयू पर खुशी जताते हुए कहा कि यह साझेदारी उनके उस विज़न के बिल्कुल अनुरूप है जिसमें शिक्षा को ज्यादा प्रैक्टिकल, बेहतर और सामाजिक रूप से उपयोगी बनाना शामिल है. उनका मानना है कि छात्रों को सिर्फ किताबों की दुनिया तक सीमित नहीं रहना चाहिए, बल्कि उन्हें वास्तविक समस्याओं को समझकर समाधान तैयार करने की क्षमता भी होनी चाहिए.

रिसर्च प्रोजेक्ट्स पर करेंगे काम

इस पार्टनरशिप के तहत एलपीयू और क्रिस्प मिलकर कई तरह के रिसर्च प्रोजेक्ट्स, फील्ड स्टडीज और पब्लिक पॉलिसी से जुड़े काम करेंगे. इससे छात्रों को रियल-टाइम डेटा के साथ, जमीनी स्तर पर काम करने का मौका मिलेगा. यह उन स्टूडेंट्स के लिए बहुत फायदेमंद होगा जो रिसर्च, पब्लिक एडमिनिस्ट्रेशन या पॉलिसी मेकिंग में करियर बनाना चाहते हैं.

यह एमओयू सिर्फ एलपीयू के लिए ही नहीं, बल्कि भारत की शिक्षा व्यवस्था के लिए भी एक सकारात्मक कदम है. आने वाले समय में इस पार्टनरशिप से ऐसे कई मॉडल और स्टडी तैयार होने की उम्मीद है जिनका उपयोग देश की उच्च शिक्षा में सुधार लाने के लिए किया जा सकेगा.

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