7th Pay Commission: गुजरात सरकार ने मानी कर्मचारियों की मांग, इतना बढ़ा डीए

7th Pay Commission: सरकार के इस फैसले से तीसरी और चौथी श्रेणी के लगभग 37,000 जीएसटीआरसी कर्मचारियों को लाभ होगा. इसमें लगभग 30,000 ड्राइवर और कंडक्टर शामिल हैं.

By Amitabh Kumar | September 23, 2022 11:52 AM

गुजरात में विधानसभा चुनाव के पहले कर्मचारियों की मांग तेज हो चली है जिससे सूबे की सरकार की परेशानी बढ‍़ सकती है. इस बीच खबर है कि गुजरात राज्य सड़क परिवहन निगम (जीएसआरटीसी) के कर्मचारियों की यूनियनों ने मंगलवार को गांधीनगर में परिवहन मंत्री पूर्णेश मोदी के साथ देर रात बैठक की. इस बैठक में गुजरात सरकार द्वारा वेतन और भत्तों के संबंध में उनकी अधिकांश मांगों को स्वीकार करने के बाद सामूहिक अवकाश पर जाने का फैसला वापस ले लिया.

तीन प्रमुख यूनियनों के नेताओं के साथ बैठक

जानकारी के अनुसार मोदी ने मिलिंद तोरवणे की मौजूदगी में GSTRC कर्मचारियों की तीन प्रमुख यूनियनों के नेताओं के साथ बैठक की. जीएसआरटीसी के एक अधिकारी ने इस बाबत अंग्रेजी वेबसाइट इंडियन एक्सप्रेस को बताया कि मैराथन बैठक सफल रहा है. मंत्री के द्वारा यूनियनों की अधिकांश मांगों को स्वीकार कर लिया गया है. जीएसआरटीसी के कर्मचारियों के व्यापक हित में उनके त्वरित कार्यान्वयन का आदेश दिया गया है.

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सरकार के इस फैसले से तीसरी और चौथी श्रेणी के लगभग 37,000 जीएसटीआरसी कर्मचारियों को लाभ होगा. इसमें लगभग 30,000 ड्राइवर और कंडक्टर शामिल हैं. 1997 के बाद यह पहली बार है जब सार्वजनिक परिवहन सेवा प्रदाता के कर्मचारियों के भत्तों को संशोधित करने का फैसला लिया गया है.

लगभग 30,000 ड्राइवर और कंडक्टर को लाभ

सरकार द्वारा स्वीकार की जाने वाली प्रमुख मांगों पर गौर करें तो इसमें अक्टूबर, 2021 से ड्राइवरों के ग्रेड पे को 1,800 रुपये से बढ़ाकर 1,900 रुपये और कंडक्टरों के ग्रेड पे को 1,650 रुपये से बढ़ाकर 1,800 रुपये करना शामिल है. लगभग 30,000 ड्राइवर और कंडक्टर को ये लाभ मिलेगा. जीएसआरटीसी की एक विज्ञप्ति में कहा गया है कि 1 अक्टूबर तक इनके उच्च ग्रेड वेतन का 15 करोड़ रुपये बकाया है जो दिया जाएगा.

डीए को 11 प्रतिशत बढ़ाने पर सहमति

सरकार ने जुलाई, 2021 से महंगाई भत्ते (डीए) को 11 प्रतिशत बढ़ाने पर सहमति जतायी है. फरवरी 2023 से अतिरिक्त 3 प्रतिशत बढ़ाने पर भी सरकार ने हामी भर दी है. पांच साल की परिवीक्षा पर सेवा दे रहे और निश्चित वेतन पाने वाले ड्राइवर और कंडक्टर को 16,000 रुपये के बजाय 18,500 रुपये मासिक वेतन दिया जाएगा. अपनी मांगों को लेकर कर्मचारियों ने समूहिक रूप से छुट्ट पर जाने की चेतावनी दी थी जिसके बाद सरकार को ये फैसला लेना पड़ा. यहां चर्चा कर दें कि GSRTC के पास 8,000 बसों का बेड़ा है और औसतन 25 लाख यात्री प्रतिदिन इसकी सेवाएं लेते हैं.

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