Aliens के अस्तित्व पर नया दावा, जानिए वैज्ञानिकों ने क्या कहा…

लंदन : हमारे सौरमंडल के बाहर ग्रहों की परिक्रमा कर रहे चंद्रमाओं में द्रव रूप में पानी मौजूद हो सकता है जो दूसरे ग्रह पर जीवन के लिए जरूरी होता है. एक नये अध्ययन में ऐसा दावा किया गया है. ब्रिटेन के लिंकन विश्वविद्यालय के अनुसंधानकर्ताओं ने कहा कि बाह्य ग्रह (एक्जोप्लैनेट) हमारे सौरमंडल के […]

By Prabhat Khabar Print Desk | June 7, 2019 4:27 PM

लंदन : हमारे सौरमंडल के बाहर ग्रहों की परिक्रमा कर रहे चंद्रमाओं में द्रव रूप में पानी मौजूद हो सकता है जो दूसरे ग्रह पर जीवन के लिए जरूरी होता है. एक नये अध्ययन में ऐसा दावा किया गया है.

ब्रिटेन के लिंकन विश्वविद्यालय के अनुसंधानकर्ताओं ने कहा कि बाह्य ग्रह (एक्जोप्लैनेट) हमारे सौरमंडल के बाहर मौजूद ग्रहों को कहा जाता है और अब तक 4,000 ऐसे ग्रहों की खोज की जा चुकी है.

इनके एक छोटे से हिस्से पर जीवन की संभावना है. इस हिस्से को आवास योग्य क्षेत्र के तौर पर जाना जाता है. हालांकि कुछ ग्रह खासकर गैस से बने विशालकाय ग्रहों में ऐसे चंद्रमा हो सकते हैं, जिसमें द्रव रूप में जल हो सकता है.

लिंकन विश्वविद्यालय के फिल जे सूटोन ने कहा कि इन चंद्रमाओं को उनके इर्द-गिर्द चक्कर लगाने वाले ग्रहों के गुरुत्वाकर्षण खिंचाव से अंदर से गर्म किया जा सकता है जिससे उन ग्रहों के आवास योग्य क्षेत्र के बाहर द्रव रूप में जल मौजूद हो सकता है.

सूटोन ने कहा, मेरा मानना है कि अगर हम उन्हें ढूंढ पाए तो चंद्रमाओं पर धरती से इतर जीवन ढूंढने का मार्ग प्रशस्त हो सकता है. इस अध्ययन में बाह्य ग्रह जे1407बी के चक्कर लगाने वाले चंद्रमाओं की संभावना को तलाशा गया कि क्या उन्होंने ग्रहों के रिंग सिस्टम में कोई दरार पैदा की है.

पृथ्वी से दूरी और उनके आकार की वजह से बाह्य चंद्रमाओं का पता लगाना बहुत मुश्किल होता है. इस कारण से वैज्ञानिकों को ग्रहों के छल्ले समेत उनके आस-पास की अन्य चीजों पर पड़ने वाले प्रभाव का अध्ययन करना पड़ता है.

यह अध्ययन मंथली नोटिसेज ऑफ द रॉयल एस्ट्रोनॉमिकल सोसाइटी में प्रकाशित हुआ है.

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