भारत में असहिष्णुता का स्थान नहीं : अमर्त्य सेन

कोलकाता : भारतीय समाज सहिष्णु समाज है. नेताजी भारत की एकता के सबसे बड़े समर्थक थे. उनके विचारों की प्रासंगिकता वर्तमान समय में सबसे अधिक है. वे एक महान नेता, विचारक व मुख्यधारा के राजनीतिज्ञ थे. एल्गिन रोड स्थित नेताजी भवन में उनकी जयंती पर आयोजित कार्यक्रम में नोबेल पुरस्कार विजेता व प्रख्यात अर्थशास्त्री अमर्त्य […]

By Prabhat Khabar Print Desk | January 24, 2016 6:32 AM
कोलकाता : भारतीय समाज सहिष्णु समाज है. नेताजी भारत की एकता के सबसे बड़े समर्थक थे. उनके विचारों की प्रासंगिकता वर्तमान समय में सबसे अधिक है. वे एक महान नेता, विचारक व मुख्यधारा के राजनीतिज्ञ थे. एल्गिन रोड स्थित नेताजी भवन में उनकी जयंती पर आयोजित कार्यक्रम में नोबेल पुरस्कार विजेता व प्रख्यात अर्थशास्त्री अमर्त्य सेन ने ये बातें कहीं.
उन्होंने नेताजी को जात-पात से ऊपर उठ कर सामाजिक न्याय का सबसे बड़ा योद्धा बतलाया. इस अवसर पर हिंदी सिनेमा की विख्यात अदाकारा शर्मिला टैगोर ने नेताजी के आमार देशे माटी, तोमार पाये ठेकाय माथा को नेताजी का प्रिय गान बतलाते हुए उनके बहुआयामी चरित्र से लोगों को प्रेरणा लेने की आवश्यकता बतलायी.
उन्होंने कहा कि मांडले जेल से नेेताजी का कलकत्ता में डीएल राय के साथ पत्राचार में उन्होंने अपने पसंदीदा गीतों के बारे में लिखा था. इस अवसर पर नेताजीर प्रियो गीत के नाम से 15 गीतों की एक सीडी का लोकार्पण किया गया, जिसका निर्माण नेताजी रिसर्च ब्यूरो व आशा आडियो के सहयोग किया गया है.
इसके अलावा नेताजी के बारे में उपयोगी जानकारी देनेवाली एक पुस्तक दि आरेकल का भी विमोचन किया गया. इस अवसर पर पूर्व सांसद कृष्णा बसु, सांसद सुगत बसु, प्रो लिनेड गार्डेन, संगीतकार श्रीकुमार बनर्जी, प्रोमिता बनर्जी, सुमन भट्टाचार्य शामिल थीं.

Next Article

Exit mobile version