पूजा से पहले सशर्त खोले जा सकते हैं रूफटॉप रेस्टाेरेंट : मेयर

पूजा से पहले सशर्त रूफटॉप रेस्टोरेंट खोले जा सकते हैं. हालांकि, कोई नया रूफटॉप रेस्टोरेंट बनाने की अनुमति नहीं दी जायेगी. कोलकाता नगर निगम (केएमसी) के मेयर फिरहाद हकीम ने बुधवार को राज्य सरकार द्वारा गठित रूफटॉप समिति की मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) की बैठक के बाद संवाददाताओं से बात करते हुए ये बातें कहीं.

By BIJAY KUMAR | August 27, 2025 11:12 PM

कोलकाता

. पूजा से पहले सशर्त रूफटॉप रेस्टोरेंट खोले जा सकते हैं. हालांकि, कोई नया रूफटॉप रेस्टोरेंट बनाने की अनुमति नहीं दी जायेगी. कोलकाता नगर निगम (केएमसी) के मेयर फिरहाद हकीम ने बुधवार को राज्य सरकार द्वारा गठित रूफटॉप समिति की मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) की बैठक के बाद संवाददाताओं से बात करते हुए ये बातें कहीं. उन्होंने कहा कि समिति ने हाल के अग्निकांडों से सीख लेकर कुछ अहम फैसले लिये हैं. उन्होंने कहा कि मौजूदा रूफटॉप रेस्टोरेंट के 50 प्रतिशत हिस्से को खाली रखना होगा. सड़क की ओर वाले हिस्सों को भी खाली रखना पड़ेगा, ताकि किसी भी दुर्घटना की स्थिति में सड़क की तरफ से हाइड्रोलिक सीढ़ी से अंदर जाकर बचाव कार्य किया जा सके. उन्होंने यह भी साफ किया कि रूफटॉप रेस्टोरेंट में गैस सिलिंडर नहीं रखा जा सकता है. किसी तरह की आग जलाने पर पाबंदी रहेगी. इंडक्शन या इलेक्ट्रिक ओवन का इस्तेमाल किया जा सकता है. सीढ़ियों को खाली रखना होगा. महानगर के सभी रूफटॉप रेस्टोरेंट को 15 दिसंबर तक इस नये निर्देश को लागू करना होगा. चूंकि पूजा सामने है. इसे देखते हुए भले ही रूफटॉप को खोलने की अनुमति दी गयी है, लेकिन रेस्टोरेंट मालिक को तीन महीने का बांड देना होगा.

नगर निगम, पुलिस और अग्निशमन विभाग के अधिकारियों वाली एक समिति घूम-घूम कर जांच करेगी कि क्या नये प्रतिबंध तीन महीने के भीतर लागू हुए हैं या नहीं. उन्होंने कहा कि हमें कानून के दायरे में काम करना होगा. मेयर ने कहा कि भविष्य में निगम की ओर से एक बिल भी लाया जायेगा. इसके मुताबिक रूफटॉप को एक सामान्य क्षेत्र के रूप में रखना होगा. अग्निशमन, पुलिस और निगम हर तीन महीने में परिसर का निरीक्षण करेंगे. यदि नियमों का पालन नहीं किया जाता है, तो लाइसेंस रद्द कर दिया जायेगा. मेयर ने कहा कि मानव जीवन की कीमत पर व्यवसाय नहीं चल सकता. यदि आप परमिट चाहते हैं, तो आपको नियमों का पालन करना होगा.

आवश्यक शर्तों में से एक यह है कि छत पर बैठने की जगह का कम से कम 50 प्रतिशत खाली रखना पड़ेगा. पिछले साल अप्रैल की एक रात बड़ाबाजार के फलपट्टी स्थित एक होटल में आग लगने से 14 लोगों की मौत हो गयी थी. होटल की अग्निशमन व्यवस्था को लेकर कई सवाल उठे थे. घटना के बाद महानगर के रूफटॉप रेस्टोरेंट में अग्निशमन व्यवस्था की कमी सामने आयी थी.

इसे लेकर कलकत्ता उच्च न्यायालय में एक मामला भी दायर किया गया था. मेयर ने पहले कहा था कि महानगर में अब और रूफटॉप रेस्टोरेंट नहीं खोले जा सकते. राज्य सरकार ने इस संबंध में मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) तैयार करने का आदेश दिया था.

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