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Rourkela News: आरएसपी में जीरो लिक्विड डिस्चार्ज प्रणाली का होगा विकास, ताजे पानी पर निर्भरता घटेगी

Rourkela News: आरएसपी की ओर से ट्रीटमेंट सिस्टम-2 के कार्यान्वयन के लिए अनुबंध पर हस्ताक्षर किया गया है. इससे ताजे पानी पर निर्भरता घटेगी.

By BIPIN KUMAR YADAV | March 14, 2025 12:06 AM
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Rourkela News: राउरकेला इस्पात संयंत्र (आरएसपी) ने सतत औद्योगिक प्रथाओं और पर्यावरण के अनुकूल भविष्य के अपने दृष्टिकोण की तलाश में आरएसपी में प्रोजेक्ट्स सम्मेलन कक्ष में पांच साल के लिए संचालन और रखरखाव के साथ शून्य तरल निर्वहन जीरो लिक्विड डिस्चार्ज प्रणाली के तहत ट्रीटमेंट सिस्टम-2 के कार्यान्वयन के लिए मेसर्स एफ्वा इंफ्रा एंड रिसर्च प्राइवेट लिमिटेड, ठाणे और मेसर्स एसएमसी रिसोर्सेज एसडीएन, कुआलालंपुर के कंसोर्टियम के साथ एक अनुबंध पर हस्ताक्षर किये हैं.

प्रति घंटे 1920 सीयूएम अपशिष्ट जल को उपचारित करने की होगी क्षमता

हस्ताक्षर समारोह कार्यपालक निदेशक (परियोजनाएं) सुदीप पाल चौधरी, मुख्य महाप्रबंधक (परियोजनाएं) पिनाकी चौधरी, मुख्य महाप्रबंधक (आंतरिक लेखा परीक्षा) डॉ गिरिजा शंकर दास, मुख्य महाप्रबंधक (उपयोगिताएं और पर्यावरण) हीरालाल महापात्र, मुख्य महाप्रबंधक (विद्युत् वितरण) डीके भंज और आरएसपी, मेकॉन और कंसोर्टियम के अन्य वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति में आयोजित की गयी. ट्रीटमेंट सिस्टम-2 में प्रति घंटे 1920 सीयूएम अपशिष्ट जल को उपचारित करने की क्षमता होगी, जिसे पुन: उपयोग के लिए आरएसपी के मेकअप वाटर सिस्टम में रिसाइकिल किया जायेगा. यह पहल ब्राह्मणी नदी से ताजे कच्चे पानी के उपयोग को काफी कम करेगी, जिससे जल संरक्षण और पर्यावरणीय स्थिरता में योगदान मिलेगा. इस परियोजना के साथ, आरएसपी उपयोग किए गए पानी को कुशलतापूर्वक पुनर्चक्रण करके शून्य तरल निर्वहन (जीरो लिक्विड डिस्चार्ज-जेडएलडी) प्लांट बनने की दिशा में एक बड़ा कदम उठा रहा है.

हरित स्टील के उत्पादन के प्रति प्रतिबद्धता को बल मिलेगा

ट्रीटमेंट सिस्टम-2 की स्थापना इस उद्देश्य को प्राप्त करने में सहायक होगी, जिससे आरएसपी की टिकाऊ पर्यावरण और हरित स्टील के उत्पादन के प्रति प्रतिबद्धता को बल मिलेगा. उल्लेखनीय है कि, परियोजना के लिए परिसंविदा पत्र (लेटर ऑफ अवार्ड-एलओए) 28 फरवरी 2025 को जारी किया गया था और कार्यान्वयन कार्यक्रम अनुबंध की प्रभावी तिथि से 188 महीने निर्धारित किया गया है. इस पहल के लिए परियोजना सलाहकार मेसर्स मेकॉन लिमिटेड, रांची है.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है

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