रांची : रद्द किये गये 12 लौह अयस्क खदानों को कब्जे में लेने का निर्देश दिया गया

रांची : खान विभाग द्वारा माइनिंग एक्ट के अधीन खनन न करने के आरोप में अब तक 12 लौह अयस्क खदानों का लीज हाल ही में रद्द कर दिया गया है. विभाग द्वारा इसके रिजर्व की स्थिति पता की जा रही है. वहीं विभाग द्वारा पश्चिम सिंहभूम के डीएमओ को निर्देश दिया गया है कि […]

By Prabhat Khabar Print Desk | March 5, 2019 8:23 AM

रांची : खान विभाग द्वारा माइनिंग एक्ट के अधीन खनन न करने के आरोप में अब तक 12 लौह अयस्क खदानों का लीज हाल ही में रद्द कर दिया गया है. विभाग द्वारा इसके रिजर्व की स्थिति पता की जा रही है. वहीं विभाग द्वारा पश्चिम सिंहभूम के डीएमओ को निर्देश दिया गया है कि जिन खदानों का लीज रद्द हुआ है, अविलंब डीएमओ उसे अपने कब्जे में ले ले.

गौरतलब है कि कुछ कंपनियाें ने अभी खदानों में अपना कब्जा बरकरार रखा है. कंपनियों का तर्क है कि मामला कोर्ट में है और कोर्ट से उन्हें दोबारा खदानों के लीज मिलने के अासार हैं. इधर, विभाग द्वारा खदानों को अपने कब्जे में लेने का प्रयास चल रहा है.

नीलामी करायी जायेगी : विभाग द्वारा सभी खदानों का नये सिरे से रिजर्व पता किया जा रहा है. इसके बाद इन सभी खदानों की नीलामी करायी जायेगी. मार्च 2020 तक विभाग के पास 21 नन कैप्टिव खदान हो जायेंगे.

विभाग की योजना है कि मार्च 2020 के बाद ऐसे खदानों की नीलामी करायी जायेगी. विभाग द्वारा प्रमुख रूप से रेवती रमण प्रसाद एवं आनंद वर्धन प्रसाद (नोवामुंडी एवं मेरालगढ़ा),रेवती रमण प्रसाद एवं आनंद वर्धन प्रसाद ( इतरबालजोरी), कमलजीत सिंह अहलूवालिया ( बराईबुरु तातिबा के दो खदान),जेनरल प्रोड्यूस लिमिटेड(करमपदा के दो खदान),आर. मैक्डिल एंड कंपनी प्राइवेट लिमिटेड (करमपदा आरएफ), श्रीराम मिनरल कंपनी (खास जामदा), पदम कुमार जैन (ठाकुरानी) व शाह ब्रदर्स (करमपदा) के लीज हैं, जिसे रद्द किया जा चुका है. अन्य खदानों की भी जांच चल रही है.

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