एमजीएम कॉलेज को मिली आरएनए 96 टेस्ट मशीन, अब एक दिन में कोरोना की होगी 1000 जांच

एमजीएम मेडिकल कॉलेज में को कोराेना जांच के लिए एक और आरएनए 96 टेस्ट मशीन मिली है. इससे जांच में तेजी आयेगी. नयी मशीन के आने के बाद जिले में हर दिन एक हजार सैंपल की जांच हो सकेगी.

By Prabhat Khabar Print Desk | July 4, 2020 5:36 AM

जमशेदपुर : एमजीएम मेडिकल कॉलेज में को कोराेना जांच के लिए एक और आरएनए 96 टेस्ट मशीन मिली है. इससे जांच में तेजी आयेगी. नयी मशीन के आने के बाद जिले में हर दिन एक हजार सैंपल की जांच हो सकेगी. अभी प्रतिदिन चार सौ की जांच हो रही है. सोमवार से मशीन से जांच शुरू हो जायेगी. जिला प्रशासन अौर सिविल सोसाइटी के सहयोग से यह मशीन आयी है.

उपायुक्त रवि शंकर शुक्ला ने मशीन उपलब्ध कराने में सहयोग के लिए समाजसेवियों का आभार जताया है. उपायुक्त ने लोगों से मास्क का प्रयोग करने, हाथों को निरंतर धोने अौर अनावश्यक घर से बाहर नहीं निकलने की अपील की है. कहा कि सतर्कता, सावधानी ही कोविड -19 का इलाज है. एमजीएम मेडिकल कॉलेज के प्राचार्य डॉ पीके बारला ने प्रशासन व सिविल सोसाइटी का आभार जताते हुए मशीन के आने से जांच में तेजी आने की बात कही.

माइक्रो बायोलॉजिस्ट डॉ प्याली गुप्ता ने कहा कि मशीन की टेस्ट करने की क्षमता अन्य मशीन से अधिक है. वर्तमान में एमजीएम कॉलेज अौर टीएमएच में जांच की सुविधा है. मशीन के लिए रूंगटा माइंस, एपेक्स अॉटो, जमशेदपुर क्लोरो केम, सोनी अॉटो, एसिया, अॉटो प्रोफाइल्स, राम कृष्ण फाउंडेशन, जयंत कुमार जायसवाल, जेमीपॉल, रॉनी डिकॉस्टा आदि ने सहयोग किया है.

सदर अस्पताल में कोरोना की जांच नहीं होने से हो रही है परेशानी : जिले में हो रही कोरोना जांच के लिए जिला यक्ष्मा विभाग में दो ट्रू नेट मशीन लगायी गयी है. वहीं, सदर अस्पताल में जांच नहीं होने के कारण डॉक्टरों व कर्मचारियों को काफी परेशानी हो रही है. सदर अस्पताल के डॉक्टरों के अनुसार अस्पताल में इलाज कराने के लिए कई लोग आते हैं.

इसमें से कई लोगों को कोरोना जांच की जरूरत होती है, जिसका नमूना लेकर जांच के लिए यक्ष्मा विभाग भेजा जाता है, वहां से रिपोर्ट आने के बाद ही इलाज शुरू किया जाता है. इसके कारण मरीजों व डॉक्टरों को काफी परेशानी हो रही है. उन लोगों को कहना है कि सदर में अगर ट्रू नेट मशीन लगायी जाती है, तो यहां इलाज कराने आने वाले मरीजों को काफी लाभ होगा.

Post By : Pritish Sahay

Next Article

Exit mobile version