गुमला में अपह्रत पारा शिक्षक का दो दिनों से नहीं मिला सुराग

गुमला : पालकोट प्रखंड स्थित राजकीयकृत उत्क्रमित मध्य विद्यालय चीरोडीह के पारा शिक्षक भोला प्रधान (40 ) के अपहरण के दो दिन हो गये, लेकिन अभी तक उसका कोई सुराग नहीं मिला है. किस अपराधी व उग्रवादी संगठन ने उसका अपहरण किया है, इसका भी पता नहीं चला है. पुलिस भोला को खोजने के लिए […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | November 18, 2016 8:20 AM

गुमला : पालकोट प्रखंड स्थित राजकीयकृत उत्क्रमित मध्य विद्यालय चीरोडीह के पारा शिक्षक भोला प्रधान (40 ) के अपहरण के दो दिन हो गये, लेकिन अभी तक उसका कोई सुराग नहीं मिला है. किस अपराधी व उग्रवादी संगठन ने उसका अपहरण किया है, इसका भी पता नहीं चला है. पुलिस भोला को खोजने के लिए चीरोडीह व रायडीह के बॉर्डर इलाके में स्थित जंगल में घुसी है. 24 घंटे से पुलिस जंगलों में है, लेकिन अभी तक भोला का सुराग नहीं पुलिस को नहीं मिला है.

एसडीपीओ बच्चनदेव कुजूर व थाना प्रभारी नित्यानंद महतो पुलिस बल के साथ छापामारी अभियान चला रहे हैं. इधर,अपराधियों ने चार लाख रुपये लेवी मांगी थी, लेकिन परिजनों द्वारा गरीबी व आर्थिक स्थिति का हवाला देने पर अपराधी डेढ़ लाख रुपये लेने को तैयार हो गये हैं.
परिजन अपराधियों को पैसा देने की व्यवस्था कर रहे हैं. दो दिन से भोला का सुराग नहीं मिलने से परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल है. अपराधियों ने अंतिम बार गुरुवार की सुबह भोला की पत्नी गीता देवी को फोन कर लेवी की मांग की है.
प्रेस व पुलिस काे नहीं बताने की धमकी पराधियों ने भोला के परिजनों को फोन कर धमकी दी है. कहा है कि अगर भोला के अपहरण व लेवी मांगने की जानकारी प्रेस व पुलिस को दी गयी, तो अंजाम बुरा होगा. अपराधियों की इस धमकी से परिजन डरे हुए हैं. भोला के दो पुत्र उज्ज्वल व नीरज हैं, जो अपने पिता को खोज रहे हैं. परिजनों ने अपराधियों से भोला को छोड़ने की अपील की है.
डर से ग्रामीण बात नहीं करते : उमड़ा गांव में वर्ष 2013 में भाकपा माओवादियों ने भोला के छोटे भाई लालू प्रधान की हत्या कर दी थी. उस समय भोला ने माओवादी तिलकमैन साहू (अभी कुछ माह पहले सरेंडर किया है) के खिलाफ गवाही दी थी. इसके बाद माओवादियों ने ग्रामीणों को धमकी दी थी कि भोला के परिजनों से गांव के लोग कोई सरोकार नहीं रखेंगे.
उसके घर की बिजली भी काट दी गयी थी, लेकिन बाद में बिजली जोड़ा गया. पर अभी तक गांव के लोग भोला के परिजनों से बात नहीं करते हैं.
स्कूल खुला, नहीं हुई पढ़ाई : गुरुवार को स्कूल खुला, पर पढ़ाई नहीं हुई. सिर्फ मिड डे मील बना. बच्चे स्कूल आये. भोजन खाने के बाद सभी बच्चे घर लौट गये. सहायक शिक्षिका किरण केरकेट्टा ने बताया कि गुरुवार को बीआरसी में बैठक थी. इस कारण बैठक में भाग लेने पालकोट आ गया. बच्चों के लिए भोजन बना था.