एसपी महिला कॉलेज के सहायक प्राध्यापक को साइबर ठगों ने डिजिटल अरेस्ट कर 15 लाख ठगे

कहा गया कि मुंबई पुलिस ने उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है और उन्हें कभी भी गिरफ्तार किया जा सकता है. मामला पहुंचा नगर थाना, प्राथमिकी दर्ज.

By BINAY KUMAR | November 29, 2025 12:13 AM

दुमका. दुमका के एसपी महिला कॉलेज के सहायक प्राध्यापक अविनाश शरण साइबर अपराधियों के शिकार हो गये, जहां उन्हें डिजिटल अरेस्ट का भय दिखाकर ₹15 लाख आरटीजीएस करने पर मजबूर कर दिया गया. पीड़ित प्राध्यापक ने नगर थाना में आवेदन देकर कार्रवाई की मांग की है, जिस पर प्राथमिकी दर्ज कर ली गयी है. शिकायत के अनुसार, मोबाइल नंबर 8941821365 से कॉल कर स्वयं को ट्राई कर्मी बताने वाली एक महिला ने अपना नाम हर्षिका शर्मा बताया और प्राध्यापक को यह कहकर डराया कि उनके आधार से एक फर्जी एयरटेल सिम (नंबर 7738941379) खरीदा गया है, जिसका उपयोग अवैधानिक गतिविधियों में हुआ है. कहा गया कि इस आधार पर मुंबई पुलिस ने उनके खिलाफ प्राथमिकी दर्ज की है और उन्हें कभी भी गिरफ्तार किया जा सकता है. इसके बाद कॉल को व्हाट्सएप में स्थानांतरित कर दिया गया, जिसका नंबर 7002819076 बताया गया. वहां से स्वयं को मुंबई पुलिस और सीबीआइ का अधिकारी बताकर प्राध्यापक को यह कहकर और भयभीत किया गया कि वे किसी मनी लॉन्ड्रिंग केस में नरेश गोयल नामक व्यक्ति के साथ संलिप्त पाये गये हैं. चार दिनों तक लगातार मानसिक दबाव बनाते हुए उन्हें और उनके बच्चों को पुलिस हिरासत में लेने की धमकी दी गयी. पीड़ित के अनुसार, चल-अचल संपत्ति की जांच के नाम पर कहा गया कि वे मुंबई नहीं आ सकते तो पहले ₹15 लाख एक खाते में जमा करें, जांच के बाद राशि वापस कर दी जायेगी. दबाव में आकर उन्होंने अपना ₹15 लाख एसबीआइ खाते से एक यस बैंक (डिब्रूगढ़) के खाते में आरटीजीएस कर दिया. घटना के बाद अविनाश शरण ने 21 नवंबर को नगर थाना में आवेदन दिया. नगर थाना प्रभारी जगन्नाथ धान ने मामले की पुष्टि की और बताया कि जांच शुरू कर दी गयी है.

डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है