Samastipur News:कोचिंग के बहाने स्कूल से गैर हाजिर रहने वाले छात्रों का कटेगा नाम
जिले के सरकारी स्कूलों में अब बच्चों की अनियमित उपस्थिति को लेकर शिक्षा विभाग ने कड़ा रुख अपनाया है.
Samastipur News:समस्तीपुर: जिले के सरकारी स्कूलों में अब बच्चों की अनियमित उपस्थिति को लेकर शिक्षा विभाग ने कड़ा रुख अपनाया है. शिक्षा विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. एस. सिद्धार्थ ने स्पष्ट कर दिया है कि जो बच्चे कोचिंग या ट्यूशन के कारण स्कूल से अनुपस्थित रहेंगे, उनका नाम विद्यालय से काट दिया जायेगा. यह फैसला बच्चों को नियमित रूप से स्कूल आने और गुणवत्तापूर्ण शिक्षा के लिए लिया गया है. यदि कोई छात्र स्कूल में नियमित रूप से अनुपस्थित रहता है, तो उसे स्कूल द्वारा चेतावनी दी जायेगी. चेतावनी के बाद भी यदि छात्र की उपस्थिति में सुधार नहीं होता है, तो उसके अभिभावकों को सूचित किया जायेगा. डीपीओ एसएसए मानवेंद्र कुमार राय ने बताया कि कोचिंग के बहाने स्कूल से गैर हाजिर रहने वाले छात्रों का नाम कटेगा. उन्होंने कहा कि 270 दिन स्कूल संचालित होता है. जो छात्र नाम लिखवाने के बाद स्कूल नहीं आते हैं, उनके माता-पिता को इसकी जानकारी दी जायेगी. इसके बाद छात्रों की उपस्थित स्कूल में नहीं हुई, तो उनका नाम काट दिया जायेगा. कहा कि पीटीएम में गैर हाजिर रहने वाले माता-पिता को भी चेतावनी दी जायेगी. सरकार छात्रों की पढ़ाई के लिए लगातार पैसा दे रही है. शिक्षक, कर्मचारी मेहनत भी कर रहे हैं. ऐसे में जो छात्र नहीं आते हैं, उसकी जिम्मेदार स्कूल की नहीं होगी. सरकारी स्कूलों में पढ़ाने वाले शिक्षक कोचिंग सेंटर में नहीं पढ़ा सकेंगे. ऐसे शिक्षकों पर शिक्षा विभाग की पैनी नजर है. कोचिंग में जाकर बच्चों को पढ़ाने वाले सरकारी शिक्षकों को चिन्हित कर कार्रवाई करने की तैयारी है. सरकारी स्कूलों में पढ़ने वाले विद्यार्थियों को गुणवत्तापूर्ण शैक्षणिक वातावरण मुहैया कराने की तैयारी शुरू कर दी गयी है. जिले उच्च माध्यमिक व उच्चतर माध्यमिक स्कूलों में पढ़ने वाले वैसे विद्यार्थी जो स्कूल के अलावा कोचिंग में पढ़ाई करते हैं उनकी सूची तैयार की जा रही है. विद्यार्थियों की कोचिंग पर निर्भरता कम करने के लिये जिला शिक्षा कार्यालय की ओर से सभी कोचिंग संचालकों से बच्चों की कुल संख्या की रिपोर्ट मांगी जा रही है. रिपोर्ट के आधार पर यह सुनिश्चित किया जायेगा कि सरकारी स्कूलों के साथ ही कोचिंग क्लास में पढ़ाई करने वाले कितने प्रतिशत विद्यार्थी हैं. शिक्षा विभाग की ओर से किये जा रहे सर्वेक्षण में पाया गया है कि स्कूलों के अलावा विद्यार्थी कोचिंग क्लास पर ही अधिक निर्भर हैं. ऐसा माना जा रहा है कि स्कूलों में शिक्षकों की कमी और बेहतर पढ़ाई नहीं होने की वजह से विद्यार्थियों की रुझान कोचिंग संस्थानों की बढ़ रही है. विद्यार्थियों की इसी रुझान को कम करने और स्कूलों में उपस्थिति बढ़ाने के लिये कोचिंग संस्थानों से बच्चों की कुल संख्या की रिपोर्ट मांगी जा रही है. कोचिंग संस्थानों से विद्यार्थियों की कुल संख्या मिलने के बाद यह प्लानिंग की जायेगी कि विद्यार्थियों की कोचिंग पर से निर्भरता कम करने के लिये स्कूलों में गुणवत्तापूर्ण पढ़ाई के लिये शेड्यूल तैयार किया जायेगा.
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