बिहार मे चमकी बुखार पर सरकार सतर्क, सीएम ने स्वास्थ्य विभाग को दिया PICU तैयार करने का निर्देश

बिहार मे गर्मी बढ़ने से एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम (AES) के फैलने की आशंका बढ़ गई है. इस चुनौती से निपटने के लिए अस्पतालों को हर तरह से तैयार रहने का निर्देश दिया है. तत्काल दवाओं की उपलब्धता और पीकू वार्ड तैयार रखने का निर्देश दिया है.

By Prabhat Khabar Digital Desk | April 6, 2022 3:58 PM

बिहार मे गर्मी बढ़ने से एक्यूट इंसेफेलाइटिस सिंड्रोम (AES) के फैलने की आशंका बढ़ गई है. इस चुनौती से निपटने के लिए अस्पतालों को हर तरह से तैयार रहने का निर्देश दिया है. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने इसके लिए मरीजों को अस्पताल पहुंचाने, तत्काल दवाओं की उपलब्धता और पीकू वार्ड तैयार रखने का निर्देश दिया है, इसके पहले मुख्य सचिव आमिर सुबहानी ने AES को लेकर जिलों से फीडबैक लिया था.

जागरुकता अभियान चलाया जाए

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने मंगलवार को संकल्प में एईएस को लेकर एक उच्च स्तरीय समीक्षा बैठक बुलाई, ये बैठक एक अणे मार्ग में हुई. बैठक में सीएम ने कहा कि AES के प्रति पूरी तरह सतर्कता बरती जाए. लोगों को AES के लक्षणों एवं इलाज के प्रति जागरूक करते रहें और इसके लिए व्यापक रूप से जागरुकता अभियान चलाया जाए . एईएस से प्रभावित बच्चों को तुरंत अस्पताल तक पहुंचाने की सारी व्यवस्था सुनिश्चित करने का भी निर्देश सीएम ने दिया.

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PICU वार्ड तैयार करने के आदेश

मुख्‍यमंत्री नीतीश कुमार ने आदेश दिया कि AES से प्रभावित बच्चों को तुरंत अस्पताल में भर्ती करा जाय ताकि बच्‍चों की जान बच सके. नीतीश कुमार ने कहा, पीडियाट्रिक इंटेंसिव केयर यूनिट (PICU) वार्ड तैयार करें ताकि चमकी प्रभावित बच्चों को समय पर इलाज हो सके. उन्होंने स्वास्थ्य अधिकारियों से चमकी का इलाज करने वाले सभी अस्पतालों में पर्याप्त दवाओं की उपलब्धता सुनिश्चित करने को भी कहा है. बताते चलें कि पिछले साल भी कुछ बच्‍चों की जान गई थी, इस लिए इस बार आइपीसीयू वार्ड तैयार कर बच्‍चों को तुरंत स्‍वास्‍थ्‍य लाभ देने की कोशिश की जा रही है.

30 हजार आशा कार्यकर्ताओं को दी गयी किट

इससे पूर्व मुख्य सचिव के साथ समीक्षा बैठक में स्वास्थ्य विभाग के अपर मुख्य सचिव प्रत्यय अमृत ने बताया कि राज्य के AES प्रभावित जिलों में सभी आशा को दवा की किट उपलब्ध कराई गई है. इस किट में तीन पारासिटामोल का सीरप और 20-20 ओआरएस का पैकेट उपलब्ध कराया गया है. वहीं, 268 स्वास्थ्य संस्थानों में 566 विशेष किट भी उपलब्ध कराई गई है, जिसमें इलाज में उपयोग किए जाने वाले उपकरणों को उपलब्ध कराया गया है.

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