मोतिहारी रेल मामला : ISI के तीनों संदिग्धों को 17 फरवरी तक न्यायिक हिरासत में

पटना : पटना की एक विशेष एनआइए अदालत ने आज आइएसआइ के तीन संदिग्धों को 17 फरवरी तक के लिए न्यायिक हिरासत में भेज दिया. इन्हें ट्रेन के पटरी से उतरने की घटनाओं में उनकी भूमिका के संदेह में पिछले महीने गिरफ्तार किया गया था. विशेष न्यायाधीश मनोज कुमार सिन्हा ने तीनों संदिग्धों को यहां […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | February 3, 2017 4:24 PM

पटना : पटना की एक विशेष एनआइए अदालत ने आज आइएसआइ के तीन संदिग्धों को 17 फरवरी तक के लिए न्यायिक हिरासत में भेज दिया. इन्हें ट्रेन के पटरी से उतरने की घटनाओं में उनकी भूमिका के संदेह में पिछले महीने गिरफ्तार किया गया था. विशेष न्यायाधीश मनोज कुमार सिन्हा ने तीनों संदिग्धों को यहां उनके समक्ष पेश किये जाने पर न्यायिक हिरासत में भेज दिया.

एनआइए के वकील लल्लन सिन्हा ने कहा कि तीनों के खिलाफ रेलवे कानून, विस्फोटक पदार्थ कानून और भादसं के तहत मामला दर्ज किया गया है. मोतीलाल पासवान, मुकेश यादव और उमाशंकर पटेल 17 जनवरी को बिहार के पूर्वी चंपारण जिले से गिरफ्तार किए गये थे.

जांच के दौरान पासवान ने 20 नवंबर, 2016 को कानपुर के समीप इंदौर-पटना एक्सप्रेस के पटरी से उतर जाने में भूमिका निभाने की बात कबूली थी. इस हादसे में करीब 150 लोगांे की जान गयी थी. तीनों की गिरफ्तारी के बाद पूर्वी चंपारण के पुलिस अधीक्षक जितेंद्र राणा ने दावा था किया कि इन्होंने एक नेपाली के साथ काम करने की बात कबूली थी जिस पर आईएसआई से जुडे होने का संदेह है.

राणा ने कहा था कि तीनों एक दर्जन से अधिक आपराधिक मामलाें में कथित रुप से शामिल रहे हैं तथा भारत में ट्रेन हादसे करवाने के लिए नेपाली एजेंटों ने उन्हें काम पर लिया था. पुलिस अधीक्षक के अनुसार उनकी गिरफ्तारी पिछले साल दिसंबर में नेपाल में उन दो व्यक्तियों की हत्या की जांच के सिलसिले मेंं हुई थी जिन्हें एक अक्तूबर, 2016 को विस्फोट से पूर्वी चंपारण जिले में घोडासहन में रेल पटरी को उड़ाने में विफल रहने की वजह से मार दिया गया था. जांच के दौरान हुए इन खुलासों के आलोक में एनआइए ने इसकी जांच अपने हाथ में ले ली थी.