एनडीए नेताओं की मंगलवार को दिल्ली में बैठक, नीतीश और पासवान के हिस्सा लेने की उम्मीद

नयी दिल्ली/पटना : भाजपा नीत राजग के शीर्ष नेता मंगलवार को रात्रि भोज पर मिलेंगे. इस बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के उपस्थित होने की उम्मीद है. पार्टी सूत्रों ने इस आशय की जानकारी दी. बैठक में बिहार के मुख्यमंत्री एवं जदयू अध्यक्ष नीतीश कुमार, शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे और […]

By Prabhat Khabar Print Desk | May 20, 2019 7:51 PM

नयी दिल्ली/पटना : भाजपा नीत राजग के शीर्ष नेता मंगलवार को रात्रि भोज पर मिलेंगे. इस बैठक में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और भाजपा अध्यक्ष अमित शाह के उपस्थित होने की उम्मीद है. पार्टी सूत्रों ने इस आशय की जानकारी दी. बैठक में बिहार के मुख्यमंत्री एवं जदयू अध्यक्ष नीतीश कुमार, शिवसेना प्रमुख उद्धव ठाकरे और लोक जन शक्ति पार्टी के नेता रामविलास पासवान के हिस्सा लेने की उम्मीद है. यह बैठक 23 मई को लोकसभा चुनाव परिणाम सामने आने से दो दिन पूर्व होने जा रही है.

पार्टी मुख्यालय में केंद्रीय मंत्रियों सहित भाजपा नेताओं की एक बैठक सहयोगी दलों के साथ रात्रि भोज से पहने होनी है. एक्जिट पोल में भाजपा नीत राजग को स्पष्ट बहुमत मिलने का पूर्वानुमान आने के बाद भाजपा का रात्रि भोज आयोजित करने का निर्णय सामने आया है. गौरतलब है कि लोकसभा चुनाव 2019 के लिए रविवार शाम को जारी ज्यादातर एक्जिट पोल के मुताबिक एक बार फिर भाजपा नीत राजग बहुमत से केंद्र में सरकार बनाता दिख रहा है. लगभग सभी एक्जिट पोल में भाजपा नीत गठबंधन को 272 के जादुई आंकड़े को पार करता दिखाया गया है.

पटना : भाजपा कार्यालय में 23 मई के रिजल्ट का बेसब्री से इंतजार
भाजपा कार्यालय में 23 मई के रिजल्ट का बड़ी बेसब्री से इंतजार हो रहा है. एक्जिट पोल के नतीजे आने के बाद दिन भर बड़ी संख्या में लोगों की आवाजाही लगी रही. पार्टी के सभी बड़े नेता और राज्य स्तरीय मंत्री का जमावड़ा यहां लगा रहा. हालांकि, इस गहमागहमी के बीच पार्टी में थोड़ा गमगीन माहौल भी बना रहा. इस दौरान केंद्रीय मंत्री और लाजपा अध्यक्ष रामविलास पासवान भी भाजपा दफ्तर आये. उपमुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी, प्रदेश अध्यक्ष नित्यानंद राय, केंद्रीय मंत्री रामकृपाल यादव, प्रेम कुमार, मंगल पांडेय पहुंचे. पार्टी के शीर्ष नेताओं की बैठक बंद कमरे में हुई.

एक्जिट पोल पक्ष में आने के कारण सभी का मनोबल ऊंचा दिखा. हालांकि, बड़े नेता खुलकर बोलने से परहेज करते रहे. मगर, कार्यकर्ता स्तर पर केंद्र की संभावित कैबिनेट की चर्चा भी हुई. बूथ कमेटी के कार्यकलाप को लेकर भी चिंतन हुआ.

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