बिहार स्वास्थ्य विभाग का बड़ा एक्शन, बर्खास्त किये 12 GNM, होगा सर्टिफिकेस केस, जानें वजह

Bihar Health Department: सिविल सर्जन ने बताया कि 15 मार्च 2021 को स्वास्थ्य विभाग पटना के फर्जी पत्रांक पत्र संख्या 313(6) के आधार पर सभी 12 स्वास्थ्यकर्मियों ने नियुक्ति पा ली. उस वक्त मामले की जांच नहीं हो सकी और सेवा संपुष्टि भी तीन साल में करा ली गयी.

By Paritosh Shahi | February 17, 2025 9:08 PM
an image

Bihar Health Department, मनीष राज, गोपालगंज: बिहार स्वास्थ्य विभाग में फर्जी नियुक्ति पत्र के आधार पर चार साल से नौकरी कर रहें 12 जनरल नर्सिंग और मिडवाइफ़री (GNM) को बर्खास्त कर दिया गया है. साथ ही सर्टिफिकेट केस दर्ज कर राशि वसूलने के लिए कार्रवाई शुरू हो गयी है. सिविल सर्जन डॉ बीरेंद्र प्रसाद ने बताया कि जिन स्वास्थ्य कर्मियों को बर्खास्त किया गया है, उनपर नगर थाने में पूर्व में प्राथमिकी दर्ज करायी गयी है. इनमें से एक स्वास्थ्यकर्मी का निधन हो चुका है, शेष 11 स्वास्थ्यकर्मियों पर कानूनी कार्रवाई चल रही है. निदेशक प्रमुख (नर्सिंग) स्वास्थ्य सेवाएं के पास जब शिकायत पहुंची तो इसकी जांच नये सिरे से करायी गयी. स्वास्थ्य विभाग की जांच में जिस पत्रांक पत्र से नियुक्ति हुई, वह पत्रांक पत्र संख्या 313(6) फर्जी निकली. फर्जी नियुक्ति पत्र के नाम पर नौकरी करने का खुलासा होने के बाद सिविल सर्जन के आदेश पर सदर अस्पताल के उपाधीक्षक डॉ संजीव कुमार ने नगर थाने में प्राथमिकी दर्ज करायी है.

कार्रवाई की जानकारी देते सिविल सर्जन

ये स्वास्थ्यकर्मी हुए बर्खास्त

स्वास्थ्य विभाग ने सदर अस्पताल में फर्जी नियुक्ति पत्र पर नौकरी कर रहे 11 स्वास्थ्यकर्मियों को बर्खास्त कर दिया. इनमें परिचारिका श्रेणी-ए के स्वास्थ्यकर्मी जहानाबाद के राकेश कुमार, रणधीर कुमार, पटना के अनिसाबाद के अर्जुन कुमार चौधरी, सीवान के रघुनाथपुर के दिग्विजय कुमार मांझी, पटना के दानापुर के सुनिल कुमार चौधरी, नालंदा के खुदागंज के मिंटू कुमार चौधरी, पटना के दनियवां की प्रियंका कुमारी, लखीसराय के पीरी बाजार की शोभा कुमारी, मेदनी चौकी की निलम कुमारी, नालंदा के वेना निवासी रजनीश कुमार और लखीसराय के मेदनी चौक के संजीव कुमार शामिल हैं. वहीं, किरण कुमारी का सेवा काल के दौरान निधन हो चुका है.

बिहार की ताजा खबरों के लिए क्लिक करें

अब आगे क्या होगी कार्रवाई

स्वास्थ्य विभाग ने फर्जी नियुक्ति पत्र के आधार पर नियुक्त हुए सभी पर प्राथमिकी दर्ज कराने के बाद बर्खास्त कर दिया है. पुलिस इन अभियुक्तों की तलाश में छापेमारी शुरू कर दी है. सरकार से उठाये गये राशि की रिकवरी के लिए सर्टिफिकेट केस करने कार्रवाई की जायेगी.

इसे भी पढ़ें: Bihar Crime: बेटा गया था महाकुंभ इधर पिता की कर दी हत्या, उजड़ गया परिवार, हिरासत में 7 लोग

Next Article

Exit mobile version