Budget 2020: आज हलवा रस्म का आयोजन, 10 दिन के लिए अधिकारी होंगे नजरबंद, जानिए क्या है ये पंरपरा

नयी दिल्लीः आगामी एक फरवरी को वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण आम बजट पेश करेंगी. इसके लिए आज हलवा की रस्म निभाई जाएगी. इसके बाद बजट के प्रिटिंग का काम औपचारिक रूप से शुरु हो जाता है. हलवा के इस रस्म में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण समेत कई मंत्री और वित्त मंत्रालय के अधिकारी शामिल रहेंगे. […]

By Prabhat Khabar Print Desk | January 20, 2020 11:18 AM
नयी दिल्लीः आगामी एक फरवरी को वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण आम बजट पेश करेंगी. इसके लिए आज हलवा की रस्म निभाई जाएगी. इसके बाद बजट के प्रिटिंग का काम औपचारिक रूप से शुरु हो जाता है. हलवा के इस रस्म में वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण समेत कई मंत्री और वित्त मंत्रालय के अधिकारी शामिल रहेंगे. हलवा बनाने की रस्म काफी पहले से ही चली आ रही है. इस परंपरा के पीछे कारण यह है कि हलवे को काफी शुभ माना जाता है और शुभ काम की शुरुआत भी मीठे से की जाती है.
एक रिसर्च के अनुसार मीठा खाने से सकारात्मकता और ऊर्जा का संचार होता है, इसी के चलते बजट में भी हलवा सेरेमनी की शुरुआत हुई. आमतौर पर हलवा बनाने की रस्म में बजट बनाने वाले अधिकारी ही शामिल होते हैं. वर्षों से चली आ रही परंपरा के मुताबिक प्रेस में एक बड़ी कड़ाही में हलवा बनाया जाता है जिसे वहां मौजूद सब लोगों में बांटने के बाद छपाई का काम शुरू होता है.
हलवा बनने के बाद से मंत्रालय के 50 से अधिक लोग बजट बनाने में लग जाते हैं. बजट पेश होने 10 दिन पहले से ही इन लोगों को 24 घंटे नॉर्थ ब्लॉक में ही गुजारना होता है. इस बार हलवा रस्म बजट से 10 दिन पहले हो रही है. बजट बनाने में शामिल लोग घर-परिवार, दुनिया से दूर हो जाते हैं. अमूमन यह काम वित्त मंत्रालय के बेसमेंट में होता है. पिछले कई वर्षों से बजट छापने का काम यही होता है. इसलिए बेसमेंट की सुरक्षा सीमा की सुरक्षा जैसी दिखने लगती है.
वर्ष 1980 से नार्थ ब्लाक के बेसमेंट में बजट छापने का काम किया जा रहा है. बजट के सभी दस्तावेज चुनिंदा अधिकारी ही तैयार करते हैं. इस प्रक्रिया में इस्तेमाल होने वाले सभी कंप्यूटर्स को दूसरे नेटवर्क से डीलिंक कर दिया जाता है. बजट प्रिटिंग के अंतिम चार-पांच दिन तो इन्हें घर से भी संपर्क की इजाजत नहीं होती.
देश की पहली महिला वित्‍त मंत्री निर्मला सीतारमण का यह दूसरा बजट होगा. इससे पहले वे मोदी सरकार कार्यकाल में ही गत पांच जुलाई 2019 को बजट पेश कर चुकी हैं.

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