Relentless यशवंत सिन्हा की आत्मकथा अगले महीने होगी लॉन्च

नयी दिल्ली: पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा इसी जुलाई में अपनी आत्मकथा लेकर आ रहे हैं. प्रकाशक ब्लम्सबरी इंडिया ने शुक्रवार को इसकी घोषणा की. ‘रिलेंटलेस’ नामक यह पुस्तक नौकरशाह से नेता बने सिन्हा की कहानी पेश करेगी. उन्होंने बिल्कुल सामान्य पृष्ठभूमि से उठकर सत्ता की ऊंचे गलियारों तक लंबा सफर तय किया. 1960 बैच […]

By Prabhat Khabar Print Desk | June 28, 2019 9:44 PM

नयी दिल्ली: पूर्व वित्त मंत्री यशवंत सिन्हा इसी जुलाई में अपनी आत्मकथा लेकर आ रहे हैं. प्रकाशक ब्लम्सबरी इंडिया ने शुक्रवार को इसकी घोषणा की. ‘रिलेंटलेस’ नामक यह पुस्तक नौकरशाह से नेता बने सिन्हा की कहानी पेश करेगी.

उन्होंने बिल्कुल सामान्य पृष्ठभूमि से उठकर सत्ता की ऊंचे गलियारों तक लंबा सफर तय किया. 1960 बैच के आईएएस अधिकारी सिन्हा 1998 से 2004 तक तत्कालीन प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी के मंत्रिमंडल में वित्त और विदेश मंत्री रहे.

वह 1990-91 के संक्षिप्त काल के दौरान भी तत्कालीन प्रधानमंत्री चंद्रशेखर की सरकार में वित्त मंत्री रहे थे. सिन्हा ने पुस्तक की चर्चा करते हुए कहा, जब मैं छोटा था और पटना में बड़ा हो रहा था तब सिनेमाघर ऐसा इश्तहार देते थे कि वे साप्ताहांत पर एक टिकट पर दो फिल्में दिखाएंगे. मेरे जीवन की कहानी में भी आप एक टिकट पर तीन फिल्में देखेंगे.

प्रकाशक के अनुसार यह पुस्तक राजनीति, धर्म, लोकतंत्र और उसके संस्थानों पर सिन्हा की टिप्पणी, परिवार, निजी संघर्ष और बड़े सपनों को पूरा करने की अहर्निश कोशिश की दृष्टि से पाठन के लिए ध्यान खींचती है.

उसने कहा, जेपी और चंद्रशेखर से लेकर वी पी सिंह, अटल बिहारी वाजपेयी एवं नरेंद्र मोदी तक यह पुस्तक उन नेताओं और विचारधाराओं के उठने एवं गिरने की अंतदृष्टि प्रदान करती है जिसने जबर्दस्त निजी एवं राजनीतिक संघर्ष के बीच हमारे लोकतंत्र का अनोखा मार्ग तैयार किया.

सिन्हा (81) नब्बे के दशक में भाजपा से जुड़े और 2018 में यह आरोप लगाते हुए भाजपा से अलग हो गये कि ‘भारत में लोकतंत्र बड़े खतरे में है.’

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