जानें कौन थे मॉडल से आध्यात्मिक गुरू बने भय्यूजी महाराज

आध्यात्मिक गुरू भय्यूजी महाराज ने आज सुबह खुद को गोली मार ली, जिससे उनकी मौत हो गयी. घटना के बाद उन्हें तुरंत इंदौर के मुंबई अस्पताल में भरती कराया गया था, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका. हाल ही में भय्यूजी महाराज ने दूसरी शादी की थी. उनकी दूसरी पत्नी डॉक्टर हैं पहली शादी से […]

By Prabhat Khabar Print Desk | June 12, 2018 3:58 PM

आध्यात्मिक गुरू भय्यूजी महाराज ने आज सुबह खुद को गोली मार ली, जिससे उनकी मौत हो गयी. घटना के बाद उन्हें तुरंत इंदौर के मुंबई अस्पताल में भरती कराया गया था, लेकिन उन्हें बचाया नहीं जा सका. हाल ही में भय्यूजी महाराज ने दूसरी शादी की थी. उनकी दूसरी पत्नी डॉक्टर हैं पहली शादी से उनकी एक बेटी है, पहली पत्नी का देहांत हो चुका है. भय्यूजी महाराज 50 साल के थे. मां के दबाव में उन्होंने दूसरी शादी की थी, जिसके कारण उनका प्रभाव घटता जा रहा था और वे तनाव में थे. ऐसी आशंका जतायी जा रही है कि शायद दूसरी शादी ही उनकी आत्महत्या की वजह बनी.

अन्ना के करीबी रहे आध्यात्मिक गुरू भय्यूजी महाराज ने आत्महत्या की

अन्ना आंदोलन के दौरान चर्चा में आये भय्यूजी महाराज
भय्यूजी महाराज का नाम तब पहली बार चर्चा में आया था जब उन्होंने अन्ना आंदोलन के दौरान उनका अनशन तोड़वाया था. भय्यूजी का असली नाम उदय सिंह शेखावत है. उनके हजारों समर्थक हैं. उन्हें अन्ना के बहुत करीबी माना जाता है. अन्ना उनके सामाजिक कामों से काफी प्रभावित रहे हैं. कहा जाता है कि वे एक कर्मयोगी संत थे जिन्होंने कई सामाजिक कार्य किये लेकिन उसे भुनाने की कोशिश कभी नहीं की.
मॉडल से संत बने भय्यूजी महाराज
भय्यूजी महाराज की पहचान आध्यात्मिक गुरू के रूप में बन गयी थी, लेकिन वे ऐसे संत थे जिन्होंने मॉडर्न जिंदगी भी जी थी और वे वैसे ही रहते थे. उन्होंने सियाराम शूटिंग-शर्टिंग के लिए माडलिंग भी की थी. वे क्रिकेट के शौकीन थे और कविताएं भी लिखते थे.
बड़े राजनेताओं से संबंध
भय्यूजी का जन्म 29 अप्रैल 1968 में मध्य प्रदेश के शाजापुर जिले के शुजालपुर में हुआ था. स्थानीय लोगों का मानना है कि उन्हें भगवान दत्तात्रेय का आशीर्वाद प्राप्त था. वे सूर्य की उपासना करते थे और घंटों जलसमाधि भी लगाते थे. उनके ससुर महाराष्ट्र कांग्रेस के अध्यक्ष भी रहे हैं. पूर्व मंत्री विलासराव देशमुख से उनके करीबी संबंध थे, वहीं भाजपा नेता नितिन गडकरी और संघ प्रमुख मोहन भागवत भी उनके भक्त माने जाते हैं.

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