बोन मैरो ट्रांसप्लांट के लिए शिक्षक ने लगायी मदद की गुहार
शहर के एक निजी विद्यालय में शिक्षक के तौर पर कार्यरत अंगद मिश्रा के इकलौते पुत्र अभिषेक मिश्रा की जिंदगी गंभीर संकट से गुजर रही है.
झुमरीतिलैया. शहर के एक निजी विद्यालय में शिक्षक के तौर पर कार्यरत अंगद मिश्रा के इकलौते पुत्र अभिषेक मिश्रा की जिंदगी गंभीर संकट से गुजर रही है. दिल्ली विवि से गणित विषय में एमएससी (द्वितीय वर्ष) के छात्र अभिषेक को अप्लास्टिक एनीमिया और बोन मैरो फेल्योर की बीमारी हो गयी है. डॉक्टरों के अनुसार इस बीमारी में अस्थि मज्जा (बोन मैरो) पूरी तरह काम करना बंद कर देता है. रक्त कोशिकाएं और प्लेटलेट्स का निर्माण रुक जाता है. मरीज को खून की कमी, लगातार संक्रमण, तेज बुखार, रक्तस्राव, शरीर में थकान और कमजोरी जैसी गंभीर समस्याओं का सामना करना पड़ता है. प्लेटलेट्स नहीं बनने के कारण मामूली चोट या खून बहने की स्थिति भी जानलेवा हो सकती है. दिल्ली स्थित राजीव गांधी कैंसर इंस्टीट्यूट एंड रिसर्च सेंटर ने अभिषेक के इलाज पर करीब 20 लाख रुपये से अधिक का खर्च बताया है. इलाज में कीमोथेरेपी और बोन मैरो ट्रांसप्लांट दोनों शामिल है. इलाज पर होनेवाले 20 लाख रुपये का खर्च करना निजी विद्यालय में शिक्षक के पद पर काम कर रहे पिता के लिए संभव नहीं है. परिवार ने आमलोगों से मदद की गुहार लगायी है. अभिषेक के परिवार का कहना है कि यदि लोग मिलकर छोटी-छोटी सहायता भी करेंगे, तो इससे बेटे की जिंदगी बच सकती है. फिलहाल उपयुक्त बोन मैरो डोनर की खोज भी जारी है. परिवार के अनुसार सहयोग के लिए भारतीय स्टेट बैंक के खाता संख्या : 42255490172 आइएफएससी कोड : SBIN0000118 यूपीआई आइडी : 7631204650@ptsbi पर राशि भेज सकते हैं.
डिस्क्लेमर: यह प्रभात खबर समाचार पत्र की ऑटोमेटेड न्यूज फीड है. इसे प्रभात खबर डॉट कॉम की टीम ने संपादित नहीं किया है
