फास्टैग का सालाना पास बनाने वालों की आ गई बाढ़, दो महीने में ही यूजर्स संख्या 25 लाख के पार

FasTag Annual Pass: राष्ट्रीय राजमार्गों पर यात्रा करने वाले वाहनों के लिए एनएचएआई का फास्टैग वार्षिक पास बेहद लोकप्रिय हो गया है. लॉन्च के दो महीनों में ही इसके यूजर्स की संख्या 25 लाख पार पहुंच गई है. 3,000 रुपये के एकमुश्त भुगतान से 1 साल या 200 टोल पारियों तक की सुविधा मिलती है. यह पास एनएचएआई वेबसाइट और राजमार्गयात्रा ऐप पर उपलब्ध है, जिससे टोल भुगतान आसान और डिजिटल हो गया है.

By KumarVishwat Sen | October 15, 2025 9:37 PM

FasTag Annual Pass: राष्ट्रीय राजमार्ग प्राधिकरण (एनएचएआई) की ओर से 15 अगस्त 2025 को पेश किया गया फास्टैग वार्षिक पास अब देशभर के यात्रियों के बीच बेहद लोकप्रिय हो गया है. लॉन्च होने के सिर्फ दो महीनों के भीतर इसके यूजर्स की संख्या 25 लाख के आंकड़े को पार कर चुकी है. यह सफलता दर्शाती है कि भारतीय यात्रियों ने डिजिटल टोल भुगतान प्रणाली को न सिर्फ अपनाया है बल्कि इसे अपनी यात्रा का नियमित हिस्सा भी बना लिया है.

यात्रियों के लिए किफायती और आसान विकल्प

फास्टैग सालाना पास का मुख्य उद्देश्य यात्रियों को सहज और किफायती यात्रा अनुभव देना है. यह पास एक वर्ष तक मान्य रहता है या 200 टोल प्लाजा क्रॉसिंग तक इस्तेमाल किया जा सकता है. इसके लिए 3,000 रुपये का एकमुश्त भुगतान करना होता है. इससे यूजर्स को बार-बार फास्टैग रिचार्ज करने की झंझट से मुक्ति मिलती है.

देशभर में 1,150 टोल प्लाजा पर लागू

यह पास फिलहाल राष्ट्रीय राजमार्गों और एक्सप्रेसवे के लगभग 1,150 टोल प्लाजा पर लागू है. इसे कोई भी वैध फास्टैग वाला गैर-वाणिज्यिक वाहन मालिक ले सकता है. आवेदन प्रक्रिया भी बेहद आसान है. यूजर्स केवल एनएचएआई की राजमार्गयात्रा ऐप या आधिकारिक वेबसाइट के माध्यम से भुगतान कर सकते हैं. भुगतान के बाद संबंधित वाहन के फास्टैग पर सालाना पास दो घंटे के भीतर सक्रिय हो जाता है.

सुरक्षित और व्यक्तिगत इस्तेमाल के लिए डिजाइन तैयार

फास्टैग वार्षिक पास पूरी तरह व्यक्तिगत उपयोग के लिए डिजाइन किया गया है. इसे किसी अन्य व्यक्ति या वाहन को ट्रांसफर नहीं किया जा सकता. यह पास राष्ट्रीय राजमार्ग (एनएच) और राष्ट्रीय एक्सप्रेसवे (एनई) के सभी शुल्क प्लाजा पर मान्य रहता है.

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डिजिटल इंडिया मिशन को मिला बड़ा बढ़ावा

फास्टैग वार्षिक पास की यह सफलता डिजिटल इंडिया मिशन की दिशा में एक बड़ा कदम है. यह न केवल यात्रियों का समय बचा रहा है, बल्कि नकद रहित लेनदेन को भी बढ़ावा दे रहा है. एनएचएआई के अनुसार, आने वाले महीनों में यूजर्स की संख्या में और तेजी से वृद्धि होने की संभावना है.

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