अगले महीने से खुलेगा कैलाश-मानसरोवर का दूसरा मार्ग : मोदी

बीजिंग : प्रधानमंत्री बनने के बाद चीन की अपनी पहली यात्रा पर आए नरेन्द्र मोदी ने आज यहां घोषणा की कि कैलाश मानसरोवर यात्रा का दूसरा मार्ग अगले महीने से खुल जायेगा जिससे और अधिक भारतीय तीर्थयात्रियों को वहां जाने का मौका मिल सकेगा. भारत और चीन के बीच 24 समझौतों पर हस्ताक्षर किये जाने […]

By Prabhat Khabar Digital Desk | May 15, 2015 1:20 PM
बीजिंग : प्रधानमंत्री बनने के बाद चीन की अपनी पहली यात्रा पर आए नरेन्द्र मोदी ने आज यहां घोषणा की कि कैलाश मानसरोवर यात्रा का दूसरा मार्ग अगले महीने से खुल जायेगा जिससे और अधिक भारतीय तीर्थयात्रियों को वहां जाने का मौका मिल सकेगा.
भारत और चीन के बीच 24 समझौतों पर हस्ताक्षर किये जाने के बाद प्रधानमंत्री मोदी ने अपने संबोधन में कहा, कैलाश मानसरोवर जाने वाले भारतीय तीर्थयात्रियों के लिए नाथू ला मार्ग जून से खुल जायेगा. मैं चीन को इसके लिए धन्यवाद देना चाहता हूं. कैलाश मानसरोवर जाने के लिए नाथू ला दूसरा मार्ग है जो समुद्र तल से 4000 मीटर की ऊंचाई पर है और इससे और अधिक भारतीय तीर्थयात्रियों को वहां जाने का मौका मिलेगा. यह मार्ग वहां जाने के लिए अभी उपयोग किये जा रहे उत्तराखंड स्थित लिपूलेख दर्रे के अलावा होगा.
उल्लेखनीय है कि लिपूलेख मार्ग 2013 में उत्तराखंड में आई बाढ में बुरी तरह से क्षतिग्रस्त हो गया था. नाथू ला मार्ग से भारतीय तीर्थयात्रियों विशेष तौर पर बुजुर्ग भारतीय नागरिकों को बसों से आरामदायक स्थिति में यात्रा करना सुगम हो सकेगा हालांकि इस हिमालयी क्षेत्र की परिस्थितियों के अनुरुप आक्सीजन की कमी एक चुनौती बनी रहेगी.
विदेश मंत्रालय अभी एक वर्ष में 18 जत्थों में 1000 से अधिक तीर्थयात्रियों को कैलाश मानसरोवर ले जाता है और यह यात्रा 22 दिनों की होती है. अधिकारियों को उम्मीद है कि कैलाश जाने के लिए दूसरा मार्ग खुलने के बाद तीर्थयात्रियों की संख्या में वृद्धि होगी.
तिब्बत स्थित कैलाश मानसरोवर जाने के लिए सिक्किम होते हुए दूसरा मार्ग खोलने की रुपरेखा को एक फरवरी को ही अंतिम रुप दे दिया गया था जब विदेश मंत्री सुषमा स्वराज चीन की यात्रा पर गई थीं.
चीन के राष्ट्रपति शी जिनपिंग ने पिछले वर्ष सितंबर में अपनी नयी दिल्ली यात्रा के दौरान कैलाश मानसरोवर के लिए नया मार्ग खोलने का वादा किया था. दोनों पक्षों ने नये मार्ग से तीर्थयात्रा शुरु करने की दिशा में मिलकर काम करने पर सहमति व्यक्त की थी.
मोदी ने ब्राजील में ब्रिक्स शिखर सम्मेलन से इतर शी के साथ अपनी पहली बैठक के दौरान कैलाश मानसरोवर के लिए दूसरा मार्ग खोलने की पुरजोर वकालत की थी.