रांची : जागरूकता व समुचित इलाज से ही टीबी से मिलेगा छुटकारा

रांची : उषा मार्टिन के कामगारों को स्वास्थ्य के प्रति जागरूक व प्रशिक्षित करने के लिए सीएसआर एवं स्वास्थ्य विभाग द्वारा अभियान चलाया गया. डॉ पंकज धींगरा ने कहा कि टीबी एक सामाजिक बुराई है. इसके प्रति अज्ञानता, भेदभाव व खर्च के बारे में अफवाहों के कारण यह बीमारी लाइलाज हो जाती है. इसके लिए […]

By Prabhat Khabar Print Desk | April 28, 2019 8:05 AM
रांची : उषा मार्टिन के कामगारों को स्वास्थ्य के प्रति जागरूक व प्रशिक्षित करने के लिए सीएसआर एवं स्वास्थ्य विभाग द्वारा अभियान चलाया गया.
डॉ पंकज धींगरा ने कहा कि टीबी एक सामाजिक बुराई है. इसके प्रति अज्ञानता, भेदभाव व खर्च के बारे में अफवाहों के कारण यह बीमारी लाइलाज हो जाती है. इसके लिए जरूरी है सामाजिक जागरूकता तथा समय पर समुचित इलाज. कार्यक्रम में उषा मार्टिन वायर रोप्स, पावर प्लांट के कामगार भी शामिल हुए.
डॉ धींगरा ने कहा कि धूलकणों के माध्यम से टीबी के जीवाणु फेफड़े में पहुंचते हैं. यह संक्रामक बीमारी है. ऐसे में देरी करने से खतरा ज्यादा बढ़ जाता है.
चूंकि इस बीमारी में पूरा खर्च सरकार की ओर से वहन किया जाता है, इसलिए इसके प्रति लोगों को ज्यादा गंभीर होने की जरूरत है ताकि 2025 तक इस बीमारी को पूर्ण रूप से खत्म किया जा सके. इस अवसर पर उषा मार्टिन के सीएमओ डॉ नीतेश मुंडले ने कहा कि कारखाने में कामगारों के लिए समय-समय पर जागरूकता, जांच शिविर आयोजित की जाती है, ताकि कार्यस्थल पर हरेक कामगार स्वस्थ्य रहे.
यूनियन प्रतिनिधि आरके मिश्रा ने कहा कि टीबी के लक्षण एवं इसकी जांच में सावधानी बरतनी चाहिए ताकि देर न हो. कारखाने के एचआर हेड विवेक कृष्ण ने कहा कि कर्मचारी के स्वास्थ्य में सुधार एवं जागरूकता के लिए प्रबंधन तत्पर है. सीएसआर हेड डॉ मयंक मुरारी ने स्वागत भाषण तथा दिवाकर ने जागरूकता अभियान के उद्देश्य पर प्रकाश डाला. मौके पर शीत कुमार व प्राण रंजन मिश्रा ने भी विचार रखे.

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