हिंदी केवल संवाद का माध्यम ही नहीं, हमारी संस्कृति की आत्मा है : निदेशक
पाकुड़. हिंदी दिवस की पूर्व संध्या पर शनिवार को दिल्ली पब्लिक स्कूल के सभागार में संगोष्ठी का आयोजन किया गया.
13 सितंबर फोटो कैप्शन – डीपीएस स्कूल में हिन्दी दिवस पर आयोजित संगोष्ठी को संबोधित करते प्रिंसिपल डॉ जेके शर्मा संवाददाता, पाकुड़ हिंदी दिवस की पूर्व संध्या पर शनिवार को दिल्ली पब्लिक स्कूल के सभागार में संगोष्ठी का आयोजन किया गया. इस अवसर पर विद्यालय के निदेशक अरुणेंद्र कुमार, प्रधानाचार्य जेके शर्मा सहित स्कूल के सभी शिक्षक उपस्थित थे. कार्यक्रम का उद्देश्य राष्ट्र भाषा के महत्व पर विचार-विमर्श करना और शिक्षकों-छात्रों में हिंदी के प्रति सम्मान एवं गर्व की भावना जागृत करना था. निदेशक अरुणेंद्र कुमार ने कहा कि हिंदी केवल संवाद का माध्यम ही नहीं, बल्कि हमारी संस्कृति और सभ्यता की आत्मा है. उन्होंने सभी को यह प्रेरणा दी कि हिंदी को केवल ‘हिंदी दिवस’ तक ही सीमित न रखकर उसे जीवन की दिनचर्या और व्यवहार में शामिल करने में गर्व होना चाहिए. प्रधानाचार्य जेके शर्मा ने हिंदी भाषा की ऐतिहासिक यात्रा और उसके साहित्यिक गौरव पर प्रकाश डाला. उन्होंने सभी शिक्षकों से आग्रह किया 14 सितंबर को मनाया जाने वाला हिंदी दिवस हमें यह प्रेरित करता है कि हम अपनी भाषा के अनुराग और सम्मान को अक्षुण्ण रखें. उसकी विशालता को नयें आयाम दें. आने वाली पीढ़ियों तक उसकी विरासत को पहुंचाएं. हिंदी के विभागाध्यक्ष नेहा चक्रवर्ती ने हिंदी भाषा की उपयोगिता रेखांकित करते हुए कहा कि हिंदी का सम्मान करना, केवल भाषा का नहीं, बल्कि अपनी पहचान और स्वाभिमान का भी सम्मान करना है. मौके पर तापोश सरकार, विकास गुप्ता, सरस्वती, मौमिता सहित अन्य मौजूद थे.
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