आज तक जारी है आदिवासियों के साथ छल-प्रपंच : अलेस्टेयर बोदरा
खूंटी प्रखंड के मारंगहदा क्षेत्र के हातु-मुंडाओं संग पांचवीं अनुसूची दिवस डाड़ीगुटू पंचायत भवन में मनाया गया
खूंटी. खूंटी प्रखंड के मारंगहदा क्षेत्र के हातु-मुंडाओं संग पांचवीं अनुसूची दिवस डाड़ीगुटू पंचायत भवन में पड़हा राजा फूलचंद टुटी की अध्यक्षता में आयोजित किया गया. इस अवसर पर मुख्य रूप से उपस्थित झारखंड उलगुलान संघ के संयोजक अलेस्टेयर बोदरा ने कहा कि पांचवीं अनुसूची भारतीय संविधान का हिस्सा है. यह मारंग गोमके जयपाल सिंह मुंडा की देन है. संविधान सभा की बैठकों में उनके द्वारा आदिवासियों की ऐतिहासिकता तथा हितों की पुरजोर वकालत की गयी. उन्होंने आगे कहा कि संविधान निर्माण के समय से आदिवासियों के साथ किया जा रहा छल-प्रपंच आज तक जारी है. आदिवासियों के संवैधानिक प्रावधानों तथा कानूनी अधिकारों को दरकिनार किया जा रहा है. झारखंड उलगुलान संघ इस विषय पर गंभीर है. इसी के मद्देनजर 11 नवंबर के राजभवन के समक्ष महाधरना कार्यक्रम आयोजित किया जायेगा. जिसके माध्यम से राज्यपाल और झारखंड सरकार को आदिवासियों के अस्तित्व, अस्मिता एवं स्वाभिमान से खिलवाड़ बंद करने का संदेश दिया जायेगा. उन्होंने कहा कि आदिवासी किसी भी अन्याय को बर्दाश्त नहीं करेगा. मौके पर मसीहदास गुड़िया, जोन जुरसेन गुड़िया, ठाकुरा मुंडा, चौतन मुंडा, नंदराम मुंडा, जोसेफ हस्सा, दाहरू मुंडा, मुईसू पाहन, एतवा मुंडा, सुखराम टुटी, बरनाबास टुटी, नारायण सिंह मानकी, जैतून टुटी सहित अन्य उपस्थित थे.
पांचवीं अनुसूची दिवस का किया गया आयोजनB
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