होल्डिंग टैक्स के साथ ही कटेगा वाटर टैक्स, नहीं चुकाने पर लगेगा एक फीसदी ब्याज का दंड

राज्य के नगर निकायों में नल-जल योजना के तहत पानी कनेक्शन देने के बाद लाभुकों को जल कर लेने की जल्द शुरुआत होगी. इसके लिए नगर विकास व आवास विभाग नगर निकायों के माध्यम से शुल्क की वसूली करेगा.

By Prabhat Khabar | August 25, 2021 9:00 AM

पटना. राज्य के नगर निकायों में नल-जल योजना के तहत पानी कनेक्शन देने के बाद लाभुकों को जल कर लेने की जल्द शुरुआत होगी. इसके लिए नगर विकास व आवास विभाग नगर निकायों के माध्यम से शुल्क की वसूली करेगा.

जानकारी के अनुसार अगर एक माह के शुल्क जमा करने में देरी होती है तो लाभुक को एक फीसदी ब्याज से हिसाब से जुर्माना देना होगा. इसके अलावा अगर लगातार एक वर्ष तक जल कर जमा नहीं करने पर पानी का कनेक्शन काट दिया जायेगा.

इसके बाद अगर कोई दोबारा कनेक्शन शुरू करवाता है तो उसे एक हजार अतिरिक्त शुल्क जमा करना होगा. गौरतलब है कि निकाय में लोगों को होल्डिंग टैक्स के साथ ही वाटर टैक्स जमा करने की सुविधा मिलेगी.

तय हो चुकी है टैक्स की राशि

वाटर टैक्स को लेकर कर निर्धारण की प्रक्रिया पूरी की जा चुकी है. ये प्रोपर्टी टैक्स के आधार पर चार श्रेणियों में अलग-अलग शुल्क निर्धारित किया है. सामान्य घरों से 40 रुपये से 150 रुपये प्रति माह तक पेयजल शुल्क वसूला जायेगा.

यहां वाटर मीटर नहीं लगेगा, जबकि सरकारी व निजी संस्थानों और व्‍यवसायिक प्रतिष्‍ठानों में वाटर मीटर लगाये जायेंगे. औद्योगिक इकाइयों में भी वाटर मीटर के हिसाब से पानी का बिल लिया जायेगा.

हर दिन सुबह जलापूर्ति की जानकारी लेने जायेंगे अफसर

हर घर नल का जल योजना के माध्यम से 95 प्रतिशत से भी अधिक घरों में कनेक्शन लगा दिया गया है. ऐसे में राज्य सरकार के निर्देश पर राज्य में मुख्यमंत्री हर घर नल का जल योजना पार्ट के तहत निगरानी करने के लिए सभी अधिकारियों को हर दिन सुबह दो घंटे योजना की निगरानी करने के लिए फील्ड में जाने का निर्देश दिया है.

शुरुआत सोमवार से हो गयी है. हर दिन समीक्षा रिपोर्ट के आधार पर हर माह के अंतिम दिन काम में कोताही करने वाले एजेंसी व अधिकारी पर कार्रवाई की जायेगी.फील्ड विजिट के बाद अधिकारियों ने क्या देखा और किस वार्ड में एजेंसी ने काम में कोताही की है. इसकी रिपोर्ट हर बनाना है, जिसकी समीक्षा पीएचइडी सचिव जितेंद्र श्रीवास्तव देर शाम में हर दिन ऑनलाइन समीक्षा करेंगे.

ऐसे होगी निगरानी

  • वार्डों में लगाया गया है सेंसर, कैसे काम कर रहे हैं

  • अधिकारी किस तरह से फोन से ले रहे हैं लाभुक से योजना की जानकारी

  • लाभुकों को कंट्रोल रूम से क्या फायदा हो रहा है, शिकायत करने पर कितने दिनों में हो रही कार्रवाई

  • ब्लॉक अधिकारी व जनप्रतिनियों से भी समय-समय पर फीडबैक लेने जाते हैं या नहीं

  • एजेंसी के काम से संतुष्ट हैं या नहीं , कहां -कहां काम में कोताही की गयी है.

  • पाइप लाइन बिछाने में कहीं कोई कोताही की गयी है या नहीं

  • जलापूर्ति योजना ब्रेक होने पर कितने समय में ठीक किया जाता है.

Posted by Ashish Jha

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