खाली पड़ी जमीनों पर बनेंगे पार्क ग्रीन बेल्ट और पिकनिक स्पॉट

बिहार सरकार शहरी क्षेत्रों में खाली पड़ी हर सरकारी जमीन को अतिक्रमण से मुक्त कर संरक्षित और विकसित करने की दिशा में निर्णायक कदम उठा रही है.

By RAKESH RANJAN | May 27, 2025 1:18 AM

अनुज शर्मा, पटना बिहार सरकार शहरी क्षेत्रों में खाली पड़ी हर सरकारी जमीन को अतिक्रमण से मुक्त कर संरक्षित और विकसित करने की दिशा में निर्णायक कदम उठा रही है. मुख्य सचिव अमृतलाल मीणा ने नगर विकास एवं आवास विभाग को स्पष्ट निर्देश दिये हैं कि राज्य के सभी शहरी स्थानीय निकायों (यूएलबी) में सरकारी जमीनों की पहचान कर उन्हें पार्क, ग्रीन बेल्ट और पिकनिक स्पॉट में तब्दील किया जाए. हाल में एक समीक्षा बैठक में मुख्य सचिव ने नगर विकास एवं आवास विभाग को कहा है कि खाली पड़ी सरकारी जमीनों पर अक्सर स्थानीय लोग कब्जा कर लेते हैं, जिससे ऐसी जमीनें अपनाअस्तित्व खो देती हैं. उन्होंने कहा कि नगर निकायों के कार्यपालक पदाधिकारी (इओ) अंचल अधिकारियों के साथ मिलकर पंचायत, नगर निगम और नगर परिषद की जमीनों की पहचान करें और उन्हें संरक्षित करें. यदि आवश्यक हो तो पुराने और सेवानिवृत्त हलका व राजस्व कर्मचारियों की भी मदद ली जाए ताकि सभी सरकारी भूखंडों का सीमांकन कर उन्हें सुरक्षित और जनहितकारी रूप में विकसित किया जा सके. मुख्य सचिव ने यह भी चिंता जतायी कि जब कोई क्षेत्र नगर निकाय में शामिल हो जाता है और उसका सीमांकन भी हो जाता है, तब भी राजस्व विभाग के अधिकारी उस क्षेत्र की जमीन पर ध्यान नहीं देते. इसके विपरीत वे ग्रामीण क्षेत्रों की भूमि को अधिक महत्व देते हैं. उन्होंने कहा कि यह रवैया बदलना होगा. जहां सरकारी तालाब मौजूद हैं, वहां उन्हें गहरा किया जाए, चारों ओर घाट बनाया जाए और प्रकाश की समुचित व्यवस्था के साथ उन्हें पिकनिक स्पॉट के रूप में विकसित किया जाए. बड़े भूखंडों पर पार्क बनाए जाएं, जबकि छोटे प्लॉट्स को पौधरोपण कर ग्रीन एरिया में तब्दील किया जाए. जिन जमीनों का व्यावसायिक उपयोग संभव हो, वहां से राजस्व प्राप्ति की संभावनाएं भी तलाशी जाएं. नगर परिषदों और पंचायतों की भूमिका अहम सरकार ने विशेष तौर पर नगर परिषदों और पंचायतों को निर्देशित किया है कि वे स्थानीय स्तर पर सरकारी जमीन की पहचान और सुरक्षा की जिम्मेदारी निभाएं. इस पहल से न केवल शहरी हरियाली में इजाफा होगा बल्कि आम लोगों को नए सार्वजनिक स्थल भी मिलेंगे.

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