2014 और 2019 के हालात में अंतर, नीतीश के बिना नहीं जीत सकते चुनाव : जदयू

पटना : अगले वर्ष होनेवाले लोकसभा चुनाव को लेकर बिहार में सीटों के बंटवारे पर भाजपा और जदयू के बीच टशन जारी है. जदयू प्रवक्ता संजय सिंह ने कहा है कि वर्ष 2014 और 2019 में काफी अंतर है. हेडलाइंस बनने की चाहत रखनेवाले सूबे के भाजपा नेताओं को नियंत्रण में रखा जाना चाहिए. साथ […]

By Prabhat Khabar Print Desk | June 25, 2018 12:17 PM

पटना : अगले वर्ष होनेवाले लोकसभा चुनाव को लेकर बिहार में सीटों के बंटवारे पर भाजपा और जदयू के बीच टशन जारी है. जदयू प्रवक्ता संजय सिंह ने कहा है कि वर्ष 2014 और 2019 में काफी अंतर है. हेडलाइंस बनने की चाहत रखनेवाले सूबे के भाजपा नेताओं को नियंत्रण में रखा जाना चाहिए. साथ ही उन्होंने कहा है कि भाजपा जानती है कि नीतीश जी के बिना वह सूबे में जीत हासिल करने में सक्षम नहीं है. अगर, भाजपा को सहयोगियों को जरूरत नहीं है, तो वह बिहार की सभी 40 सीटों पर चुनाव लड़ने के लिए स्वतंत्र है.

लोकसभा चुनाव में सीटों के बंटवारे को लेकर एनडीए में शामिल दल अपनी-अपनी दावेदारी मजबूत करने में जुटे हैं. वहीं, बिहार में एनडीए के सबसे बड़े सहयोगी जदयू ने राजनीतिक दांव चलते हुए कहा है कि गठबंधन में शामिल दलों को वर्ष 2015 में हुए विधानसभा चुनाव में आये सीटों के अनुसार लोकसभा में प्रतिनिधित्व करने का मौका मिलना चाहिए. एनडीए में शामिल दलों में जदयू की सबसे ज्यादा सीटें हैं. मालूम हो कि सीटों के बंटवारे को लेकर अभी कोई औपचारिक बैठक नहीं हुई है. भाजपा और जदयू के बीच सीटों के बंटवारे को लेकर चल रहे टशन के बीच जदयू की ओर से 25 सीटों पर दावा करते हुए कहा गया था कि बिहार में गठबंधन के नेता नीतीश कुमार ही होंगे.

भाजपा पिछले लोकसभा तो जदयू पिछले विधानसभा के परिणाम के मद्देनजर कर रही सीटों का दावा

भाजपा चाहती है कि पिछले लोकसभा चुनाव के परिणामों के मद्देनजर सीटों का बंटवारा हो. पिछले लोकसभा चुनाव में एनडीए में शामिल भाजपा ने बिहार में 22 सीटों पर जीत दर्ज की थी. वहीं, लोक जनशक्ति पार्टी ने छह, रालोसपा ने तीन और हम ने एक सीट पर जीत दर्ज की थी. जबकि, महागठबंधन में शामिल राजद को चार, जदयू को दो और कांग्रेस को दो सीटें मिली थीं. वहीं, जदयू चाहती है कि बिहार में हुए पिछले विधानसभा चुनाव परिणाम के मुताबिक लोकसभा सीटों का बंटवारा हो. मालूम हो कि एनडीए में शामिल हम गठबंधन से अलग होकर महागठबंधन में शामिल हो गया है. जबकि, महागठबंधन में शामिल जदयू महागठबंधन से अलग हो कर एनडीए खेमे में आ गयी है. गौरतलब हो कि वर्ष 2014 से पहले हुए चुनाव में एनडीए में शामिल जदयू को ही ज्यादा सीटें आयी थी. वर्ष 2014 से पहले हुए चुनाव में जदयू को 25 और भाजपा को 15 सीटें आयी थीं.

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