मुजफ्फरपुर के श्मसानों में सामान्य से छह गुना अधिक भीड़, रेवा घाट पर 24 घंटे में हुआ 51 शवों का दाह संस्कार

प्रखंड के रेवा गांव से होकर गुजरने वाली नारायणी नदी के तट पर स्थित रेवा घाट पर कोरोना महामारी में अंतिम संस्कार को लेकर शवों की संख्या में बेतहाशा वृद्धि से लोग काफी भयभीत हैं. अन्य दिनों की तुलना में शवों की संख्या में पांच से छह गुना की वृद्धि हुई है.

By Prabhat Khabar | May 12, 2021 1:37 PM

सरैया. प्रखंड के रेवा गांव से होकर गुजरने वाली नारायणी नदी के तट पर स्थित रेवा घाट पर कोरोना महामारी में अंतिम संस्कार को लेकर शवों की संख्या में बेतहाशा वृद्धि से लोग काफी भयभीत हैं. अन्य दिनों की तुलना में शवों की संख्या में पांच से छह गुना की वृद्धि हुई है.

रेवा घाट के डोम राजा बिनोद मल्लिक ने बताया कि सोमवार की शाम 4 बजे से मंगलवार की शाम तक लगभग 51 शवों का रेवा घाट पर अंतिम संस्कार किया गया. इसमें कई प्लास्टिक में लिपटे हुए थे.बताया कि प्लास्टिक में लिपटे शवों को परिजन आनन फानन में जलाकर शव के कुछ हिस्से को नदी में प्रवाहित कर देते हैं.

मामले में स्थानीय पूर्व मुखिया गणिनाथ सहनी, रेवा घाट के किसान विपत पासवान, फेंकन सहनी, गणेश सहनी, माठा पासवान, मुन्ना सहनी, राजू सहनी, बाबूलाल सहनी आदि ने बताया कि काफी संख्या में रेवा घाट में शव के दाह संस्कार से घाट पर गंदगी का अंबार लगा हुआ है. जिससे अंतिम संस्कार करने के लिए आने वाले लोगों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ता है. लोगों ने घाट की साफ सफाई की मांग की है.

27 हजार संविदा स्वास्थ्यकर्मी जायेंगे होमआइसोलेशन में

पटना. बिहार राज्य स्वास्थ्य संविदा कर्मी संघ अपनी मांगों के समर्थन में बुधवार से होमआइसोलेशन पर जायेंगे. राज्य के 27 हजार संविदा स्वास्थ्य कर्मियों के संघ ने दावा किया है कि बार-बार स्मार पत्र दिए जाने के बाद भी बिहार सरकार द्वारा उनकी मांगों पर अभी तक कोई निर्णय नहीं लिया है.

बिहार राज्य स्वास्थ्य संविदा कर्मी संघ के सदस्यों द्वारा मांगों की कॉपी संलग्न करते हुए मंगलवार को राज्य के सभी जिलों में सिविल सर्जन सह सदस्य सचिव जिला स्वास्थ्य समिति को इस आशय का ज्ञापन दे दिया है.

स्वास्थ्य संविदा कर्मी संघ के सचिव ललन सिंह ने बताया कि जिला स्तर से लेकर स्वास्थ्य उपकेंद्र स्तर तक के स्वास्थ्य संविदा कर्मी संघ के सदस्य बुधवार से खुद को होम आइसोलेट कर लेंगे. उन्होंने बताया कि आदेश की कॉपी मिली है. स्पष्ट है कि सरकार संविदा स्वास्थ्य कर्मियों की चिंता नहीं करती.

Posted by Ashish Jha

Next Article

Exit mobile version